Train Accident : कार्तिक स्नान करने जा रहे 9 श्रद्धालुओं की मौत, ट्रेन से कटकर उड़े चीथड़े, मची चीख-पुकार

Train Accident : कार्तिक स्नान करने जा रहे श्रद्धालु हादसे का शिकार हो गए। ट्रेन से कटकर 9 श्रद्धालुओं की मौत हो गई। घटना के बाद इलाके में चीख पुकार मच गई। फिलहाल जांच जारी है...

9 श्रद्धालुओं की मौत - फोटो : social media

Train Accident :  देश भर में कार्तिक पूर्णिया मनाया जा रहा है। कार्तिक पूर्णिया के दिन सभा श्रद्धालु गंगा स्नान करते हैं। सुबह के ही घाटों पर श्रद्धालुओं की भीड़ इक्ठ्ठा हो गई है। वहीं कार्तिक पूर्णिया पर स्नान करने जा रहे 9 श्रद्धालुओं भीषण हादसा का शिकार हो गए। इस घटना में सभी की दर्दनाक मौत हो गई। पूरा मामला मिर्जापुर के चुनार रेलवे स्टेशन के पास का है। 

ट्रेन से कटकर 9 श्रद्धालुओं की मौत 

जानकारी अनुसार ट्रेन से उतरकर कुछ यात्री पटरी पार कर रहे थे तभी सामने से कालका एक्सप्रेस आ गई और श्रद्धालुओं की कटकर मौत हो गई। कार्तिक पूर्णिमा पर गंगा स्नान के लिए निकले लोगों के लिए यह दिन भक्ति से अधिक त्रासदी का प्रतीक बन गया। प्रत्यक्षदर्शियों के अनुसार, यह हादसा कुछ ही सेकंडों में घटा कोई चिल्ला भी नहीं पाया, कोई भाग नहीं पाया… सब कुछ पलों में खत्म हो गया।

कैसे घटी घटना 

बताया जा रहा है कि चोपन-पैसेंजर ट्रेन जब प्लेटफॉर्म नंबर 4 पर पहुंची तो बड़ी संख्या में श्रद्धालु उतरे और बिना फुटओवर ब्रिज का उपयोग किए सीधे ट्रैक पार कर प्लेटफॉर्म नंबर 3 की ओर बढ़ने लगे। इसी बीच तेज रफ्तार कालका एक्सप्रेस जिसका चुनार में कोई स्टॉप नहीं था वहां से गुजर गई। लोगों के संभलने से पहले ही ट्रेन उन पर चढ़ गई।

नहीं रुकी कालका एक्सप्रेस

ट्रेन को स्टेशन पर रुकना नहीं था इसलिए उसकी रफ्तार कम नहीं की गई। श्रद्धालु जैसे ही ट्रैक पर उतरे हादसा हो गया। चश्मदीदों के मुताबिक, ट्रेन इतनी तेज थी कि लोगों को खुद को बचाने का मौका तक नहीं मिला। रेलवे प्रशासन और पुलिस ने तुरंत राहत और बचाव कार्य शुरू किया, लेकिन शवों की हालत ऐसी थी कि पहचान तक मुश्किल हो रही है। हादसे में कई लोग गंभीर रूप से घायल हैं। स्थानीय सूत्रों के अनुसार, अब तक 7 से 8 लोगों की मौत की पुष्टि हुई है, हालांकि प्रशासन की ओर से आधिकारिक आंकड़ा जारी नहीं किया गया है।

गंगा स्नान के लिए जा रहे थे श्रद्धालु

मरने वालों में अधिकतर श्रद्धालु वाराणसी, सोनभद्र और आसपास के जिलों से आए थे, जो कार्तिक पूर्णिमा पर गंगा स्नान के लिए चुनार घाट जा रहे थे। कई परिवारों के सदस्य इस हादसे में एक साथ खत्म हो गए, जबकि कई घायल अस्पताल में जिंदगी और मौत के बीच जूझ रहे हैं। इस हादसे ने रेलवे की सुरक्षा व्यवस्था पर गंभीर सवाल खड़े कर दिए हैं। फुटओवर ब्रिज की अनुपलब्धता, अलर्ट या बैरिकेडिंग की कमी और एनाउंसमेंट सिस्टम की नाकामी ने इस दुर्घटना को और भयावह बना दिया।