Darbhanga news: पीएम मोदी की रैली को लेकर एटीएस सतर्क, रेलवे स्टेशन पर चला जांच अभियान, चप्पे -चप्पे पर हो रही निगाहबानी
Darbhanga news:प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी की प्रस्तावित रैली के संदर्भ में एंटी टेररिज्म स्क्वॉड ने सतर्कता बढ़ा दी है।

Darbhanga news: प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी की 24 अप्रैल को झंझारपुर के भैरवस्थान में प्रस्तावित रैली को लेकर एटीएस ने दरभंगा रेलवे स्टेशन पर सुरक्षा उपायों को मजबूत किया है। प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी की 24 अप्रैल को प्रस्तावित रैली को लेकर एंटी टेररिस्ट स्क्वॉड और सुरक्षा एजेंसियां सतर्क हो गई हैं। इसी कड़ी में दरभंगा रेलवे स्टेशन पर सघन जांच अभियान चलाया गया है। इस अभियान का उद्देश्य रैली से पहले सुरक्षा व्यवस्था की मजबूती और किसी भी संभावित खतरे का समय रहते पता लगाना है।
पुलिस और रेलवे सुरक्षा बल के साथ मिलकर एटीएस की टीमों ने स्टेशन परिसर, प्लेटफॉर्म, वेटिंग रूम, पार्सल एरिया और ट्रेनों के डिब्बों की बारीकी से तलाशी ली। यात्रियों के सामान की जांच के लिए डॉग स्क्वॉड और बम डिस्पोजल यूनिट भी तैनात की गई थी।सुरक्षा बलों ने स्टेशन पर आने-जाने वाले हर संदिग्ध व्यक्ति पर कड़ी नजर रखी। कई यात्रियों से पूछताछ की गई और आईडी चेकिंग भी की गई।सूत्रों के अनुसार, एटीएस को इनपुट मिले हैं कि प्रधानमंत्री की रैली को लेकर कुछ असामाजिक तत्वों द्वारा गड़बड़ी फैलाने की कोशिश की जा सकती है। इसी को ध्यान में रखते हुए पूरे दरभंगा जिले में अलर्ट जारी किया गया है।
एटीएस अधिकारी ने बताया कि "सुरक्षा एजेंसियां किसी भी संभावित खतरे से निपटने के लिए तैयार हैं। जांच एक रूटीन सुरक्षा प्रोटोकॉल का हिस्सा है, लेकिन इसे और अधिक सघन व सतर्क रूप में अंजाम दिया जा रहा है।दरभंगा जिला प्रशासन और पुलिस प्रशासन भी पीएम मोदी की रैली को लेकर पूर्ण सतर्कता बरत रहा है। रैली स्थल पर सुरक्षा बलों की तैनाती, भीड़ नियंत्रण, ट्रैफिक व्यवस्था और वीआईपी मूवमेंट की तैयारियों को अंतिम रूप दिया जा रहा है।
सुरक्षा एजेंसियों ने आम लोगों से अपील की है कि वे रैली में भाग लेते समय किसी भी तरह की संदिग्ध वस्तु या गतिविधि को नजरअंदाज न करें और तुरंत पुलिस को सूचित करें। साथ ही, पहचान पत्र साथ लाने और प्रशासन के निर्देशों का पालन करने की सलाह दी गई है।प्रधानमंत्री मोदी की यह रैली बेहद अहम मानी जा रही है। इस रैली में बड़ी संख्या में भीड़ जुटने की उम्मीद है, इसलिए सुरक्षा एजेंसियां कोई जोखिम नहीं लेना चाहतीं।