CM Nitish News: सीएम नीतीश ने सुबह सुबह विकास मित्रों और शिक्षक मित्रों को दी बड़ी सौगात, अब इन कामों के लिए मिलेंगे इतने रुपए
CM Nitish News: सीएम नीतीश ने एक बार फिर अपना खजाना खोला है। इस बार उन्होंने विकास मित्रों और शिक्षकों मित्रों को बड़ी सौगात दी है। सीएम नीतीश ने विकास मित्रों के लिए टैबलेट के लिए एकमुश्त 25 हजार रुपए के साथ कई सौगात देने का निर्णय लिया है...
CM Nitish News: बिहार सरकार ने "न्याय के साथ विकास" के सिद्धांत पर चलते हुए समाज के वंचित वर्गों के उत्थान के लिए महत्वपूर्ण कदम उठाया है। महादलित विकास मिशन के तहत कार्यरत विकास मित्रों और शिक्षा सेवकों को अब अतिरिक्त आर्थिक सहायता दी जाएगी, जिससे वे अधिक सशक्त होकर अपनी जिम्मेदारियों का निर्वहन कर सकें। सीएम नीतीश ने इसकी जानकारी सुबह सुबह सोशल मीडिया पर ट्विट कर दिया।
विकास मित्रों को बड़ी सौगात
सीएम नीतीश ने ट्विट कर कहा कि, "न्याय के साथ विकास के सिद्धांत पर चलते हुए समाज के वंचित वर्गों के उत्थान के लिए हमारी सरकार लगातार काम कर रही है। अनुसूचित जाति एवं अनुसूचित जनजाति वर्ग तक सरकार की विभिन्न विकास एवं कल्याणकारी योजनाओं का लाभ पहुंचाने में विकास मित्रों की महत्वपूर्ण भूमिका है। इसे ध्यान में रखते हुए बिहार महादलित विकास मिशन के अन्तर्गत कार्यरत प्रत्येक विकास मित्र को टैबलेट क्रय हेतु एकमुश्त 25 हजार रूपए की राशि प्रदान करने का निर्णय लिया गया है ताकि उन्हें विभिन्न कल्याणकारी योजनाओं के लाभुकों के डाटा संधारण एवं अन्य कामकाज में सुविधा हो सके।
परिवहन भत्ता और स्टेशनरी भत्ता बढ़ाया
उन्होंने आगे कहा कि, इसके साथ ही विकास मित्रों का परिवहन भत्ता 1900 रूपए प्रतिमाह से बढ़ाकर 2500 रूपए प्रतिमाह एवं स्टेशनरी भत्ता 900 रूपए से बढ़ाकर 1500 रूपए किए जाने का निर्णय लिया गया है। इससे उन्हें क्षेत्र भ्रमण के साथ-साथ दस्तावेजों के संग्रहण में सुविधा होगी।
शिक्षक मित्रों को बड़ी सौगात
सीएम नीतीश ने बताया कि साथ ही महादलित, दलित, अल्पसंख्यक एवं अति पिछड़ा वर्ग के बच्चों तक शिक्षा का लाभ तथा अक्षर आंचल योजना के अधीन महिलाओं को साक्षर बनाने में महत्वपूर्ण भूमिका निभा रहे शिक्षा सेवकों (तालिमी मरकज सहित) को डिजिटल गतिविधियों के संपादन हेतु स्मार्ट फोन क्रय करने के लिए 10-10 हजार रूपए की राशि दिए जाने का निर्णय लिया गया है। साथ ही शिक्षण सामग्री मद में भुगतान की जा रही राशि को 3405 रूपए से बढ़ाकर 6 हजार रूपए प्रति केन्द्र प्रतिवर्ष किए जाने का निर्णय लिया गया है। इससे विकास मित्रों एवं शिक्षा सेवकों के मनोबल में वृद्धि होगी और वे अधिक उत्साह एवं लगन से अपने कार्यों का निष्पादन करेंगे।