Bihar Politics: महागठबंधन में टूट! कांग्रेस के बड़े नेता ने राजद से गठबंधन को बताया घाटे का सौदा, तेजस्वी की बढ़ेगी टेंशन?

Bihar Politics: बिहार विधानसभा चुनाव में मिली शर्मनाक हार के बाद अब महागठबंधन में विवाद बढ़ने लगा है। कांग्रेस के बड़े नेता ने एक बार फिर राजद पर आरोप लगाते हुए कांग्रेस राजद के गठबंधन को कांग्रेस के लिए घाटे का सौदा बताया है। पढ़िए आगे...

महागठबंधन में टूट? - फोटो : AI Image

Bihar Politics: बिहार विधानसभा चुनाव में मिली करारी हार के बाद से ही महागठबंधन के दलों में मतभेद देखने को मिल रहा है। नेता प्रतिपक्ष तेजस्वी यादव जहां करीब एक महीने से अपने परिवार के साथ विदेश दौरे पर हैं तो वहीं दूसरी ओर कांग्रेस के नेताओं के द्वारा हार का ठीकरा राजद पर फोड़ा जा रहा है। कांग्रेस नेता कभी राजद को हार का जिम्मेदार ठहराते तो कभी तेजस्वी को हार का जिम्मेदार बता रहे हैं। वहीं इन सबसे बेफ्रिक तेजस्वी विदेश दौरे पर परिवार के साथ क्वालिटी टाइम बीता रहे हैं। इसी बीच कांग्रेस के एक बड़े नेता ने ऐसा दावा किया है जिससे तेजस्वी यादव की टेंशन बढ़ सकती है। कांग्रेस के बड़े नेता ने दावा किया है कांग्रेस के लिए राजद से गठबंधन करना घाटे का सौदा है। 

महागठबंधन में टूट? 

बता दें कि यह नेता कोई और नहीं बल्कि कांग्रेस के वरिष्ठ नेता और कांग्रेस विधायक दल के पूर्व नेता शकील अहमद खान हैं। शकील अहम ने राजद के साथ गठबंधन पर सवाल उठाए हैं। कांग्रेस नेता ने कहा कि राजद के साथ कांग्रेस का गठबंधन पार्टी के लिए घाटे का सौदा साबित हो रहा है। यही नहीं उन्होंने पार्टी के शीर्ष नेतृत्व से गठबंधन पर पुनर्विचार करने की सलाह भी दे डाली है। शकील अहमद खान के बयान से सियासी हलचल तेज हो गई और एक बार फिर कयास लगाए जा रहे हैं कि बिहार में महागठबंधन में टूट हो सकती है। 

महागठबंधन अब केवल औपचारिकता 

दरअसल, शकील अहमद खान ने कहा कि बिहार में महागठबंधन अब केवल औपचारिकता बनकर रह गया है। राजद के साथ रहने से कांग्रेस को न तो चुनावी फायदा मिल रहा है और न ही संगठन को मजबूती। उन्होंने आरोप लगाया कि सीट बंटवारे से लेकर चुनावी रणनीति तक में कांग्रेस की भूमिका सीमित कर दी गई है। इसका नतीजा यह है कि न पार्टी की सीटों में बढ़ोतरी हो रही है और न ही वोट प्रतिशत में कोई ठोस इजाफा हो रहा है। इससे जमीनी स्तर पर कार्यकर्ताओं के बीच भ्रम और असंतोष बढ़ रहा है। बता दें कि शकील अहमद इस चुनाव में तीसरी जीत का राह देख रहे थे जबकि उन्हें हार का सामना करना पड़ा। कांग्रेस नेता कदवा विधानसभा क्षेत्र से अप्रत्याशित हार का सामना किया।

महागठबंधन की शर्मनाक हार 

गौरतलब हो कि शकील अहमद के इस बयान ने सियासी बवाल मचा दिया है और एक बार फिर महागठबंधन की एकजुटता पर सवाल खड़े हो रहे हैं। ज्ञात हो कि महागठबंधन को विधानसभा चुनाव में शर्मनाक हार का सामना करना पड़ा था। 243 में से एनडीए के हिस्से 202 सीटें आई और प्रचंड बहुमत से एनडीए की सरकार बनी। वहीं महागठबंधन 35 सीटों पर सिमट गई। राजद के 25 तो कांग्रेस के हिस्से 6 सीटें आई। हार के बाद कांग्रेस ने दिल्ली में बैठक भी बुलाई। इस बैठक में भी सभी नेताओं ने राजद और तेजस्वी यादव पर ही हार का ठीकरा फोड़ा था। अब देखना दिलचस्प होगा कि महागठबंधन में राजद कांग्रेस का साथ कब तक रहता है।