Bihar News : रस्‍मअदायगी बनकर रह गया कांग्रेस का विरोध प्रदर्शन, पटना में मार्च में नहीं शामिल हुए पार्टी सीनियर लीडर, आधे घंटे में सबकुछ समाप्त

कांग्रेस नेता और कार्यकर्ता गौतम अडानी और उनके साथियों द्वारा किए गए कथित भ्रष्टाचार और मणिपुर में जारी हिंसा, केंद्र की मोदी सरकार के राज में देशभर में फैले भ्रष्टाचार और अराजकता के खिलाफ मार्च और प्रदर्शन किए. लकिन यह रस्म अदायगी ही साबित हुई.

Bihar Congress
Bihar Congress- फोटो : Social Media

Bihar News :  बिहार को कांग्रेस ने बुधवार को विरोध प्रदर्शन किया. लेकिन पटना की सड़कों पर विरोध प्रदर्शन का रूप देखकर ऐसा लगा मानो कांग्रेस की ओर से  विरोध दर्ज कराने की रस्म अदायगी की जा रही हो. ऐसे में अब बड़ा सवाल उठ रहा है कि क्‍या विपक्ष के नाम पर कांग्रेस सिर्फ विरोध की रस्‍मअदायगी तक सीमित है. हालाँकि बाद में अडानी मुद्दे पर बिहार प्रदेश कांग्रेस कमिटी के प्रतिनिधिमंडल ने बिहार के राज्यपाल को ज्ञापन सौंपा।


उद्योगपति गौतम अडानी की गिरफ्तारी और मणिपुर हिंसा के विरोध में कांग्रेस ने इस प्रदर्शन की घोषणा की थी. न सिर्फ पटना बल्कि राष्ट्रीय स्तर पर सभी राज्यों में अडानी, मणिपुर हिंसा, केंद्र की मोदी सरकार के राज में देशभर में फैले भ्रष्टाचार और अराजकता का आरोप लगाकर कांग्रेस का यह मार्च और प्रदर्शन था. लेकिन पटना में प्रदर्शन का रूप देखकर ऐसा लगा मानो विरोध दर्ज कराने की रस्म अदायगी हुई.


पटना में कांग्रेस का यह मार्च और प्रदर्शन राजभवन तक जाना था. कांग्रेस ऑफिस से राजभवन तक पैदल मार्च निकालने के लिए कुछ नेता ही सड़क पर आए. उन्हें ही कांग्रेस दफ्तर से चंद मीटर यानी करीब 500 मीटर की दूरी पर पुलिस ने रोक लिया और वहीं उनका राजभवन मार्च खत्म हो गया. इतना ही नहीं कांग्रेस के इस मार्च में शीर्ष नेतृत्व के नेता भी नहीं दिखे. करीब आधे घंटे तक विरोध दर्ज कराने की रस्म अदायगी की भांति सबकुछ चलता रहा. उसके बाद पूरा प्रदर्शन खत्म हो गया.


अखिलेश सिंह भी नहीं रहे

कांग्रेस के इस राजभवन मार्च को लेकर कहा गया था कि इसमें बिहार कांग्रेस के अध्यक्ष डॉ अखिलेश सिंह भी शामिल होंगे. हालाँकि राज्यसभा सत्र चलने के कारण वे दिल्ली में थे तो मार्च में शामिल नहीं हुए. वहीं बिहार विधानसभा में विधायक दल के नेता शकील अहमद खान भी मार्च से दूर दिखे. विधान पार्षद समीर सिंह, मदन मोहन झा जैसे कांग्रेस के वरिष्ठ नेता भी गायब रहे.  मार्च में  विधायक प्रतिमा दास ने बढ़ चढकर हिस्सा लिया. इसी तरह कांग्रेस के सभी प्रवक्ता भी मौजूद रहे. कुछ पूर्व विधायक, एमएलसी भी मार्च में शामिल हुए. 

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