arrah -::- भोजपुर जिले में करोड़ों की लागत से बने बिहार का पहला मॉडल अस्पताल भवन में शाम 5:00 बजे इमरजेंसी व प्रसूति वार्ड को छोड़कर सभी ओपीडी विभागों में डॉक्टर नदारद हो जाते हैं। 1 मार्च 2025 से नए नियम के अनुसार ओपीडी विभाग में शाम 4:00 बजे से 6:00 बजे तक डॉक्टर को ड्यूटी करना अनिवार्य किया गया है। लेकिन बिहार के पहले मॉडल अस्पताल व आरा सदर अस्पताल में शाम 4:30 से 5:00 बजे के बाद ओपीडी में डॉक्टर नदारद हो जाते हैं। मरीज बीमारी के इलाज के लिए परिजन इधर-उधर भटकते रहते हैं।
नोटिस का भी नहीं हुआ फायदा
वही इस बात की जानकारी एक दिन पूर्व आरा सदर अस्पताल के डिप्टी सर्जन राजीव कुमार को दिया गया जहां उन्होंने इसको सुधारने की बात कही तथा अगले दिन से ऐसा न होने की सभी को नोटिस जारी करने को कहा। लेकिन आज फिर 20 मार्च 2025 को आरा सदर अस्पताल में शाम 5:00 बजे से ओपीडी के सभी विभागों में ताला लटका पाया गया। इसकी सूचना आरा के सिविल सर्जन शिवेंद्र कुमार सिन्हा को सूचना दी गई। उन्होंने नोटिस करने की बात कही लेकिन संतोष जनक जवाब नहीं दिया और कॉल काट दिए। जबकि डिप्टी सर्जन राजीव रंजन राय व अस्पताल प्रबंधक शशि कुमार के ऑफिस में भी ताला लटका पाया।
सात घंटे से पड़ा है अधेड़ का शव
इनके गैर मौजूदगी में कॉल करने पर इन्होंने किसी भी प्रकार का कॉल का रिस्पांस नहीं दिया। वहीं जब इसकी सूचना लेकर सिविल सर्जन ऑफिस पहुंचे जहां सिविल सर्जन शिवेंद्र कुमार सिन्हा भी अपने ऑफिस से नदारद मिले। जबकि इमरजेंसी वार्ड के माइनर ओटी में आज सुबह 11:00 बजे से अज्ञात अधेड़ का शव लगभग 7 घंटे से पड़ा है।
खबर लिखे जाने तक शव को नहीं हटाया गया था और ना ही अस्पताल प्रशासन व अधिकारी इस पर कुछ करने के लिए तैयार हैं। ऐसे में कह सकते हैं बिहार का पहला मॉडल अस्पताल तथा सदर अस्पताल भगवान भरोसे चल रहे हैं। जहां भोजपुर में डॉक्टर सिविल सर्जन डिप्टी सर्जन सभी शाम 5:00 बजे नदारद हो जाते हैं। वही भोजपुर के मरीजों को डॉक्टर से दिखाने के लिए दर- दर की ठोकरे खाने पड़ रही है।
report - ashish kumar