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लखीसराय डीएम मिथलेश मिश्र ने की "एक पेड़ बेटी के नाम" अभियान की शुरुआत, कहा पर्यावरण सुरक्षा के साथ बेटियों को मिलेगा सम्मान

एक पेड़, बेटी के नाम

Lakhisarai : जिलाधिकारी मिथलेश मिश्र ने बताया कि बेटियों के सम्मान और पर्यावरण संरक्षण को बढ़ावा देने के लिए एक अनूठी पहल "एक पेड़, बेटी के नाम" अभियान की शुरुआत की है। इस अभियान का उद्देश्य न केवल बेटियों के प्रति समाज में सम्मान बढ़ाना है, बल्कि पर्यावरण संरक्षण के प्रति जागरूकता फैलाना भी है। इस पहल के तहत जिले में प्रत्येक बेटी के नाम पर एक पेड़ लगाया जाएगा, जिसकी सुरक्षा की जिम्मेदारी भी सुनिश्चित की जाएगी। यह कदम जहां बेटियों के प्रति समाज की सोच में सकारात्मक बदलाव लाएगा, वहीं पर्यावरण को संरक्षित करने में भी मदद करेगा।

पेड़ न केवल पर्यावरण को हरा-भरा रखते हैं, बल्कि जलवायु परिवर्तन के प्रभावों को भी कम करने में महत्वपूर्ण भूमिका निभाते हैं। इस अभियान के जरिए बेटियों के जन्म को एक उत्सव के रूप में मनाने के साथ-साथ पर्यावरण संरक्षण का संदेश भी समाज में प्रसारित होगा। मिश्र ने इस अवसर पर बेटियों की शादी की उम्र को लेकर भी लोगों से अपील की। उन्होंने कहा कि बेटियों की शादी 21 वर्ष की आयु के बाद ही होनी चाहिए, क्योंकि इस उम्र के बाद बेटियों का शारीरिक और मानसिक विकास पूर्ण होता है, जिससे वे सशक्त और आत्मनिर्भर बनती हैं। इसके अलावा, शिक्षा और करियर के प्रति उनकी जागरूकता बढ़ती है, जो उन्हें जीवन में सफल बनाती है।

उन्होंने यह भी बताया कि जब बेटियाँ स्नातक होकर बिहार सरकार द्वारा दिए गए 35% आरक्षण का लाभ उठाते हुए रोजगार प्राप्त करती हैं, तो न केवल उनके सम्मान में वृद्धि होती है, बल्कि उनके परिवार की समृद्धि भी बढ़ती है। जिलाधिकारी ने समाज से अपील की कि वे इस पहल का समर्थन करें और बेटियों की शादी के समय 21 वर्ष की उम्र को ध्यान में रखें।

"एक पेड़, बेटी के नाम" जैसे अभियान समाज में बेटियों के प्रति सम्मान और समानता को बढ़ावा देते हैं। यह पहल एक संदेश देती है कि बेटियाँ उतनी ही महत्वपूर्ण हैं जितना कि हमारे प्राकृतिक संसाधन। मीडिया से भी मिश्र ने इस पहल के प्रचार-प्रसार में योगदान देने की अपील की गई है, ताकि समाज में बेटियों के प्रति संवेदनशीलता और जागरूकता बढ़ सके।

लखीसराय से कमलेश की रिपोर्ट

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