पटना में इस साल हुई 116 हत्याएं... 41 बलात्कार, 1,297 बार पुलिस पर हमला, कांग्रेस ने खोली नीतीश के सुशासन की पोल
कांग्रेस नेता डॉ अखिलेश सिंह ने पटना में गोपाल खेमका मर्डर के बाद नीतीश सरकार के सुशासन के दावों की पोल खोलते हुए बिहार में बढ़ते अपराध के आंकड़े पेश किये.

Bihar News : बिहार के बड़े बिजनेसमैन गोपाल खेमका की पटना में हुई हत्या के बाद नीतीश सरकार एक बार फिर कानून-व्यवस्था के मामले में विपक्ष के निशाने पर है. कांग्रेस के राज्यसभा सांसद और वरिष्ठ नेता डॉ अखिलेश प्रसाद सिंह ने शनिवार को बिहार और पटना में इस वर्ष आपराधिक घटनाओं में हुई जोरदार वृद्धि को लेकर मुख्यमंत्री नीतीश कुमार को निशाने पर लिया. उन्होंने आंकड़ा पेश करते हुए कहा कि पटना में इस साल 116 हत्याएं हुई जबकि 41 बलात्कार की घटना हुई है.
उन्होंने कहा कि एक समय था- जब पूरा बिहार शांति, सद्भाव, ज्ञान और तप की स्थली के रूप में जाना जाता था, लेकिन यहां आज गुंडों की गोलियां आग उगल रही हैं। एक तरफ ADG लॉ एंड ऑर्डर कहते हैं कि पुलिस पर बढ़ते हमले चिंता का विषय हैं। दूसरी तरफ पटना में तेजस्वी यादव जी के आवास के पास अपराधी गोलियां चलाते हैं, जो आजतक पकड़ से बाहर हैं। आज नाबालिग बच्चियों के साथ लगातार बलात्कार हो रहा है, पुलिस वालों को मौत के घाट उतार दिया जा रहा है। अकेले पटना में इस साल में 116 हत्या, 41 बलात्कार की घटनाएं हुईं हैं।
उन्होंने कहा कि बीते साल पुलिस मुख्यालय की ओर से जारी आंकड़े में कहा गया कि 151 दिनों में पुलिस पर 1,297 बार हमले हुए हैं। NCRB के अनुसार- जहां 2005 में बिहार में कुल अपराध की संख्या 1,60,664 थी, वहीं 2022 में यह संख्या बढ़कर 3,47,835 हो गई। यानी इस संख्या में 323% की वृद्धि हुई है। हत्याओं के मामले में उत्तर प्रदेश के बाद बिहार का नंबर आता है। NDA के शासन में 17 साल में 53,000 हजार से ज्यादा हत्या के मामले दर्ज किये गए, हत्या के प्रयास के मामले में भी बिहार देश में दूसरे नंबर पर है और कुल 98,169 घटनाएं दर्ज हुईं, जो 262% की वृद्धि है।
डॉ अखिलेश सिंह ने कहा कि बिहार में जघन्य अपराध (हत्या, रेप, अपहरण, फिरौती, डकैती) के मामलों में भी 226% की वृद्धि हुई है। 17 साल में 5,59,413 मामले दर्ज हुए हैं। बिहार में 2,21,729 महिलाएं अपराध का शिकार बनीं और महिला अपराध के मामलों में 336% की वृद्धि हुई है। महिलाओं के अपहरण मामलों में 1097% और बच्चों के खिलाफ अपराध में 7062% की भयावह वृद्धि हुई है। दलित अपराध के मामले में बिहार, उत्तर प्रदेश के बाद दूसरे नंबर पर हैं।
सिर में गोली मारकर हत्या
गोपाल खेमका का अपार्टमेंट कटारुका निवास पटना की हृदय स्थली कहे जाने वाले गांधी मैदान थाना के अंतर्गत आता है. उन पर गोली रात 11 बजे के बाद उस समय चली जब वे बांकीपुर क्लब से लौट रहे थे. सीसीटीवी फुटेज में साफ दिखता है कि हेलमेट पहने हुए शूटर आता है और आराम से गोपाल खेमका की कार के पास जाकर उनको गोली मार देता है. रोते-बिलखते परिजन उन्हें लेकर मेडिवर्सल हॉस्पिटल पहुंचते हैं. लेकिन सिर में गोली मारे जाने के कारण डॉक्टरों ने देखते ही उन्हें मृत घोषित कर दिया.