पटनाः सरकार के तमाम प्रयास के बाद भी शिक्षकों के वेतन भुगतान में जिले के डीपीओ दिलचस्पी नहीं दिखा रहे। शिक्षा विभाग के अपर मुख्य सचिव के फरमान के बाद भी नहीं सुधरने वाले बिहार के 11 जिलों के डीपीओ स्थापना से स्पष्टीकरण की मांग की गई है। शिक्षा विभाग के अपर मुख्य सचिव गिरिवर दयाल ने सभी लापरवाही बरतने वाले 11 डीपीओ को शो-कॉज किया है।
लापरवाही बरतने वाले डीपीओ में शामिल हैं- दरभंगा,मुंगेर,पूर्वी चंपारण,वैशाली,गोपालगंज,सारण,बेगूसराय,सीतामढ़ी,बेतिया और रोहतास
शिक्षा विभाग के अपर सचिव ने लापरवाह अधिकारियों को 24 घंटे में स्पष्टीकरण देने का आदेश दिया है।साथ हीं यह भी चेतावनी दी है कि अगर शोकॉज में जवाब संतोषजनक नहीं हुआ तो कार्रवाई तय है।
क्या है मामला
दरअसल शिक्षा विभाग ने मार्च,अप्रैल और मई महीने का वेतन तत्काल रिलीज करने का आदेश दिया था। लेकिन समीक्षा के क्रम में पाया गया कि इन जिलों में मार्च महीनें का वेतन 50 फीसदी शिक्षकों के खाते में जबकि अप्रैल का 16 फीसदी शिक्षकों को जबकि मई महीने का वेतन एक भी शिक्षकों के खाते में नहीं भेजा गया।
इस लापरवाही के बाद अब शिक्षा विभाग लापरवाह अधिकारियों पर कार्रवाई की तैयारी में जुट गया है।दरअसल बिहार के हजारों शिक्षकों का वेतन मार्च महीनें से हीं बकाया है।नई cmfs प्रणाली की वजह से थोड़ी परेशानी हो रही थी।इसके बाद शिक्षा विभाग ने य़ुद्ध स्तर पर वेतन भुगतान करने का आदेश दिया है।