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BIHAR POLITICS: मुख्यमंत्री के विकास मॉडल को कई राज्यों ने अपनाया, जल-जीवन-हरियाली और साइकिल योजना को विश्व में मिली ख्याति

BIHAR POLITICS: मुख्यमंत्री के विकास मॉडल को कई राज्यों ने अपनाया, जल-जीवन-हरियाली और साइकिल योजना को विश्व में मिली ख्याति

PATNA: राजद के स्थापना दिवस के 25 वर्ष पूरे होने पर रजत जयंती के उपलक्ष्य में पटना में भव्य कार्यक्रम का आयोजन किया गया था। वहीं दूसरी तरफ इसी दिन जदयू के मुख्य प्रवक्ता नीरज कुमार ने राजद पर पोस्टर वार के जरिए 25 सवालों के जवाब मांगे थे। उन्होंने रजत जयंती के मौके पर 25 पोस्टर जारी किए, जिनमें चारा घोटाला, नियुक्ति घोटाला, आईआरसीटीसी घोटाला, बेरोजगारी के नाम पर नौकरी का झांसा, 118 नरसंहार जैसे कई सवाल इन पोस्टर के जरिए राज्य में पूछे गए हैं।

इसी कड़ी में जदयू के मुख्य प्रवक्ता नीरज कुमार ने गुरूवार को राजद से 17वां सवाल पूछा है। उनका कहना है कि पिछले पंद्रह वर्षों के शासनकाल में नीतीश सरकार ने तरक्की और विकास की कई नई कहानियां लिखी, जिसे देश के कई राज्यों ने फ़ॉलो किया है। इसके साथ-साथ मुख्यमंत्री  नीतीश कुमार के द्वारा प्रारम्भ किए गए कुछ योजनाओं को तो विश्व स्तर पर ख्याति मिली। जल-जीवन-हरियाली, साइकिल योजना, महिला स्वयं सहायता समूह, महिलाओं को आरक्षण समेत कई ऐसी योजनायें हैं, जिसे न सिर्फ देश में बल्कि विदेशों में भी ख्याति मिली। इनमें से कई योजनाओं को केंद्र सरकार और राज्य सरकारों ने अपने यहां लागू किया है। क्या राजद सरकार अपने 15 वर्षों के कार्यकाल के दौरान कोई ऐसी योजना बता सकती है जिसे देश के किसी दूसरे प्रदेश या केंद्र सरकार ने दोहराया हो या अपनाया हो?

जल जीवन हरियाली योजना:   नीतीश कुमार ने प्रदेश में जल संरक्षण और पर्यावरण सुधार के उद्देश्य से जल जीवन हरियाली योजना की शुरूआत की। संयुक्त राष्ट्र संघ ने पर्यावरण परिवर्तन पर होने वाले राउण्‍ड टेबल कांफ्रेंस में भाग लेने के लिए पूरी दुनिया के 20 लोगों को बुलावा भेजा था, जिसमें नीतीश कुमार जी भी शामिल थे। यह न सिर्फ़ बिहार के लिए बल्कि पूरे  देश   के लिए सम्मान का विषय है।

छात्राओं के लिए साइकिल योजना: छात्राओं को मुफ़्त साइकि‍ल देने की योजना नीतीश सरकार की ऐसी योजना है जिसे उत्तर प्रदेश की समाजवादी पार्टी की तत्‍कालीन सरकार समेत देश के कई राज्यों ने दोहराया। इसके अलावा आंध्र प्रदेश, पंजाब, असाम, राजस्थान, उत्तराखंड और ओड़िसा जैसे राज्यों ने इस योजना को अपनाया। 2007 में छात्राओं के लिए शुरू होने वाली इस योजना में वर्ष 2009 में छात्रों को भी शामिल किया गया। ब्रिटेन के हाई कमिश्नर ‘जेम्स बेवन’ ने भी इस योजना की तारीफ़ की और नीतीश कुमार जी को ब्रिटेन आकर बिहार के विकास मॉडल पर बात रखने का न्योता दिया था । इस विषय पर कई विदेशी विश्वविद्यालयों में विद्वानों ने शोध भी किया और मॉडल की तारीफ़ की।

महिला स्वयं सहायता समूह: जब नीतीश कुमार सत्ता में आए तो प्रदेश में पचास हज़ार भी स्‍वयं सहायता समूह (SHG) नहीं थे। आज प्रदेश में दस लाख से भी अधिक महिला स्‍वयं सहायता समूह (SHG) हैं। बिहार इस क्षेत्र में पूरे देश में पहले स्थान पर है। बिहार सरकार ने वर्ष 2006 में जीविका की स्थापना की। भारत में स्वयं सहायता समूह के क्षेत्र में जीविका दीदी सर्वाधिक सफल मॉडल के रूप में अपनी ख्याति हासिल की।  यही कारण है कि आज देश में सार्वधिक स्‍वयं सहायता समूह (SHG) बिहार के पास है। वर्ष 2011 आते-आते केंद्र सरकार भी बिहार के जीविका मॉडल को अडॉप्ट करने के लिए मजबूर हो गई और योजना का नाम भी जीविका से ही मिलता जुलता आजीविका रखा।

महिलाओं को आरक्षण: बिहार में नीतीश कुमार ने जब काम संभाला उसके बाद महिला विकास को सर्वाधिक गम्भीरता से लिया। उन्होनें कई दूरगामी परिणाम वाले प्रावधान किये जिसे देश में ही नहीं पूरे विश्व में सराहा गया। वर्ष 2006 में बिहार पंचायती राज व्यवस्था में 50% आरक्षण देने वाला देश का पहला राज्य बना। बिहार के इस पहल को कई राज्यों के साथ-साथ केंद्र सरकार ने भी सराहा। वर्ष 2021-22 के बजट से साफ़ होता है कि नीतीश सरकार ने वर्ष 2021 में भी महिला विकास को प्रदेश के विकास के केंद्र में रखा है।

मुख्यमंत्री भिक्षावृति निवारण योजना: मुख्यमंत्री नीतीश कुमार ने इसकी घोषणा वर्ष 2011-12 में की। इस योजना की सफलता को देखते हुए नवम्बर 2019 में भारत सरकार ने इस योजना को पूरे देश में लागू करने की योजना बनाई। इसके बाद केंद्र ने 2020 में योजना का अधिकारिक घोषणा की। देश के 5 अन्य राज्यों ने भी इस योजना को अपने यहां लागू किया है। इस योजना के माध्‍यम से भिखारियों की आर्थिक दशा सुधारने के लिए उन्हें स्‍वयं सहायता समूह (SHG) से जोड़ा गया। उन्हें प्रशिक्षण और आर्थिक सहायता भी दी गई ताकि वो रोज़गार कर सकें। 

नीतीश सरकार द्वारा ऐसे कई अन्य पहल हैं जिसे कई राज्यों ने अडॉप्ट किया और अपने-अपने राज्यों में लागू किया। जिसमें अपराध पर नकेल कसने के लिए स्पेशल ऑग्ज़िलीएरी पुलिस (SAP) योजना को यूपी सरकार ने अडॉप्ट किया और भारत के पूर्व राष्‍ट्रपति श्री प्रणव मुखर्जी ने भी तारीफ़ की। जनता दरबार को यूपी की अखिलेश सरकार ने लागू किया, राइट टू पब्लिक सर्विस ऐक्ट (लोक सेवा का अधिकार अधिनियम) को कर्नाटक की सरकार ने लागू किया। और कोविड के दौरान पलायन मज़दूरों के लिए नगद मदद करने की योजना की तारीफ़ यूपी और झारखंड सरकार के साथ साथ केंद्र सरकार ने भी किया और अपने प्रदेश में अपनाने की मंशा जताई।

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