बीजेपी सांसद ने जातीय गणना पर रोक के लिए राज्य सरकार को बताया जिम्मेवार, कहा जिम्मेदारी लेने के बजाय भाजपा पर निकाल रहे भड़ास

PATNA : पटना हाईकोर्ट ने जातीय गणना पर अंतरिम रोक लगा दी थी और सुनवाई के लिए अगली तिथि 3 जुलाई तय की थी। वहीं बिहार सरकार ने हाईकोर्ट में जल्द सुनवाई की याचिका दायर की थी। हाईकोर्ट ने इस याचिका को भी खारिज कर दिया। जिसके बाद बिहार सरकार ने सुप्रीम कोर्ट का दरवाजा खटखटाया है। लेकिन सरकार को वहां से भी खाली हाथ ही लौटना पड़ा। दरअसल, बुधवार को सुप्रीम कोर्ट में इस मामले पर सुनवाई टल गई। साथ ही जज ने खुद को इस मामले से अलग कर लिया। वहीं अब बिहार की सियासत एक बार फिर गरमा गई है। पक्ष-विपक्ष में आरोप-प्रतारोप का दौर शुरू हो गया है। इसी क्रम में पूर्व उपमुख्यमंत्री और राज्यसभा सदस्य सुशील मोदी का बयान सामने आया है। सुशील मोदी ने इस मामले में सरकार को घेरते हुए कहा कि राज्य सरकार की लापरवाही से जातीय गणना पर रोक लगी है।

उन्होंने कहा कि अदालत में मजबूती से पक्ष रखने पर जहां सामान्य वर्ग के गरीबों (ईडब्ल्यूएस) को 10 फीसद आरक्षण देने के मोदी सरकार के निर्णय पर सुप्रीम कोर्ट ने अंतिम मुहर लगाते हुए इसके विरुध दायर याचिकाएं खारिज कर दी। वहीं बिहार सरकार की कमजोर पैरवी के कारण जातीय गणना पर रोक लग गई। 

मोदी ने कहा कि लालू प्रसाद का राष्ट्रीय जनता दल एकमात्र दल है। जिसने ऊंची जाति के गरीबों को आरक्षण देने का विरोध ही नहीं किया, बल्कि इसके विरुद्ध सदन में मतदान भी किया था। यही राजद गरीबों और "ए टू जेड की पार्टी " की पार्टी होना का ढोंग करता है। 

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उन्होंने कहा कि बिहार में जातीय गणना कराने के लिए विधान मंडल के दोनों सदनों में भाजपा का समर्थन करना और भाजपा के सरकार में रहते ही जातीय गणना कराने का निर्णय होना लालू प्रसाद को बेचैन करता है। भाजपा को जातीय गणना का विरोधी प्रचारित करने की बेचैनी में लालू प्रसाद सर्वे और जानवरों की गिनती में फर्क नहीं कर पाते। 

सुशील मोदी ने कहा कि जातीय गणना पर नीतीश सरकार ने पटना हाईकोर्ट में कमजोर दलीलें दीं। इस कानूनी हार की जिम्मेदारी लेने के बजाय राजद-जदयू के लोग भाजपा पर भड़ास निकालते हैं। मोदी ने कहा कि राज्य सरकार की लापरवाही के कारण जातीय जनगणना पर रोक लगी, जल्दी सुनवाई की याचिका खारिज हुई और अब सुप्रीम कोर्ट में जस्टिस संजय करोल के इस केस से खुद को अलग करने के कारण सुनवाई लंबे समय के लिए टल सकती है। लालू प्रसाद बतायें कि क्या इसके लिए भाजपा जिम्मेदार है?