PATNA: सितंबर महीने का आखिरी सोमवार है और मुख्यमंत्री नीतीश कुमार का जनता दरबार जारी है। इसी बीच जनता दरबार पहुंचते हैं कांग्रेस के वरिष्ठ नेता रामजतन सिन्हा और उसके बाद हंगामा मच जाता है। दरअसल रामजतन सिन्हा मुख्यमंत्री नीतीश कुमार से मिलना चाहते थे, मगर इजाजत नहीं दिए जाने के कारण उनका गुस्सा फूट पड़ा और उन्होनें धरने पर बैठने का ऐलान कर दिया।
दरअसल कांग्रेस के पूर्व अध्यक्ष और वरिष्ठ राजनेता रामजतन सिन्हा का आरोप है कि भारत स्काउट और गाइड में पटना के जिलाधिकारी ने बस के एक मालिक को वहां काबिज कर दिया है। इस मामले की शिकायत के बावजूद भी आज तक कोई कार्रवाई नहीं हुई है। न्यूज4नेशन के संवाददाता से खास बातचीत करते हुए वरिष्ठ नेता रामजतन सिन्हा ने बताया कि डीएम के असंवैधानिक रवैये को लेकर सीएम को अवगत कराने के लिए हम आएं हैं। यहां आकर पता चला कि जिनका रजिस्ट्रेशन पहले से हुआ है, केवल वही जा सकते हैं। पटना के डीएम चंद्रशेखर सिंह का भारत स्काउट और गाइड में अनाधिकार हस्तक्षेप हो रहा है। 9 सितंबर को डीएम से रामजतन सिन्हा ने मुलाकात की। फिर वहां से हटाकर एक पक्ष को डीएम ने वहां काबिज करा दिया। इस मामले में कमिश्नर से मिलने के बावजूद भी अबतक कोई एक्शन नहीं लिया गया है। डीएम अब भी ट्रांसपोर्टर के पक्ष में बने हुए हैं। जांच के लिए बनी कमिटी आजतक बैठी ही नहीं है।
जनता दरबार में ना जाने का रामजतन सिन्हा को बेहद अफसोस है। उन्होनें कहा रजिस्ट्रेशन की प्रक्रिया को लेकर जानकारी के अभाव में वह सीएम से मिलने में पिछड़ गए। वह सीएम से शिकायत कर वहीं धरने पर बैठना चाहते थे। हालांकि ऐसा संभव ना हो सका। इसके पश्चात आगे की कार्रवाई को लेकर वरिष्ठ नेता रामजतन सिन्हा न कहा कि वह डीएम पर क्रिमिनल केस करेंगे। पटना हाईकोर्ट में, लोकायुक्त में, जहां बन पड़ेगा, उनके खिलाफ आवाज उठाएंगे।