1. 26 जनवरी 1950 को सुबह 10 बजकर 18 मिनट पर भारत का संविधान लागू हुआ था.
2. देश के पहले राष्ट्रपति डॉक्टर राजेंद्र प्रसाद थे। 26 जनवरी 1950 को पहले राष्ट्रपति डॉक्टर राजेंद्र प्रसाद ने 21 तोपों की सलामी के साथ ध्वजारोहण किया था और भारत को पूर्ण गणतंत्र घोषित किया था. तब से हर साल 26 जनवरी को गणतंत्र दिवस के रूप में मनाते हैं.
3. भारत के राष्ट्रपति को ही देश का प्रथम नागरिक कहा जाता है. हर साल गणतंत्र दिवस में देश का प्रथम नागरिक यानी कि राष्ट्रपति गणतंत्र दिवस के समारोह में हिस्सा लेते हैं और राष्ट्रीय ध्वज को फहराते हैं.
4. राष्ट्रगान के दौरान 21 तोपों की सलामी दी जाती है. ये सलामी राष्ट्रगान की शुरुआत से होती है और राष्ट्रगान पूरा होने तक पूरी हो जाती है.
5. 21 तोपों की ये सलामी भारतीय सेना की सात तोपों द्वारा दी जाती है. इन्हें पौंडर्स भी कहा जाता है. ये तोपें 1941 में बनी थीं. हर तोप से सलामी के दौरान 3 राउंड फायरिंग की जाती है.
6. पहली गणतंत्र दिवस परेड मेजर ध्यानचंद स्टेडियम में आयोजित हुई थी. उस वक्त इस परेड को 15,000 लोगों ने देखा था.
7. पाकिस्तान के गवर्नर जनरल मलिक गुलाम मोहम्मद 1955 में पहली बार हुई राजपथ परेड में बतौर चीफ गेस्ट थे.
8. भारत का संविधान दुनिया का सबसे लंबा लिखित संविधान है. यहां तक कि इसे एक दिन में पढ़ना संभव भी नहीं है.
9. भारतीय संविधान की एक कॉपी हिंदी और अंग्रेजी दोनों भाषाओं हाथ से लिखित है. ये हाथ से लिखी गई कॉपी संसद की लाइब्रेरी में रखी हुई है.
10. बहुत ही कम लोग इस बात को जानते होंगे कि गणतंत्र दिवस परेड में एक ईसाई गीत Abide With Me भी गाया जाता है. कहा जाता है कि ये गीत महात्मा गांधी को बहुत पसंद था.