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नीतीश कुमार के साथ बैठक में पहुंचे जदयू अध्यक्ष ललन सिंह का पद से इस्तीफा, नीतीश ने संभाली पार्टी की कमान, तेजस्वी ने कैंसिंल की आस्ट्रेलिया की यात्रा, दिल्ली बैठक पर राजद की नजर

नीतीश कुमार के साथ बैठक में पहुंचे जदयू अध्यक्ष ललन सिंह का पद से इस्तीफा, नीतीश ने संभाली पार्टी की कमान, तेजस्वी ने कैंसिंल की आस्ट्रेलिया की यात्रा, दिल्ली बैठक पर राजद की नजर

दिल्ली- ललन सिंह का जदयू के अध्यक्ष पद से इस्तीफा से बिहार में ठंड के मौसम में भी सियासत गरमाई हुई है.वहीं राष्ट्रीय कार्यकारिणी की बैठक में जदयू के राष्ट्रीय अध्यक्ष ललन सिंह ने अपने पद से इस्तीफा दे दिया है.  बिहार के मुख्यमंत्री नीतीश कुमार ने ललन सिंह से लोकसभा चुनाव तक राष्ट्रीय पद पर बने रहने की अपील की थी. लेकिन सूत्रों का कहना है कि ललन ने ये अपील स्वीकार नहीं किया. इधर ललन सिंह के इस्तीफा के साथ हीं राजद के नेता और उपमुख्यमंत्री तेजस्वी यादव ने अपना 6 जनवरी का आस्ट्रेलिया दौरा भी रद्द कर दिया है. बिहार में कयासों के बीच सबकी नजर दिल्ली पर लगी हुई है. राजद भी पूरे घटनाक्रम पर नजर बनाए हुए है.

ललन सिंह के बाद मुख्यमंत्री नीतीश कुमार ने जदयू की कमान संबाल ली है. राष्ट्रीय कार्यकारिणी ने उनके नाम पर मुहर लगा दी है. लोकसभा चुनाव को लेकर नीतीश ने बड़ा निर्णय करते हुए जदयू की कमान अपने हाथ में ले ली है. इसके साथ हीं जदयू से ललन युग के बाद नीतीश युग की शुरुआत हो गई है.

बता दें नीतीश कुमार और ललन सिंह एक साथ कांस्टिट्यूशन क्लब पहुंचे. सूत्रों के मुताबिक ललन सिंह की सम्मानजनक विदाई की तैयारी थी. बताया जा रहा है कि उन्होंने लोकसभा चुनाव लड़ने का हवाला दिया. वहीं, नीतीश कुमार जेडीयू की कामान अपने हाथ में ले सकते हैं. दिल्ली पहुंचे नीतीश के करीबी मंत्री अशोक चौधरी ने स्पष्ट तौर पर कहा कि नीतीश कुमार ही जेडीयू के ब्रांड हैं और जब उनकी इच्छा होगी वे अध्यक्ष बन जाएंगे. ललन सिंह की विदाई हो गयी है.

इससे पहले गुरुवार को जब ललन सिंह के पोस्टर दिल्ली के जदयू दफ्तर में नहीं लगे थे तो यही कहा जा रहा था कि उनका पत्ता साफ हो गया है. लेकिन, इसके बाद नीतीश कुमार और ललन सिंह साथ-साथ दफ्तर गए. इसके पहले वहां दोनों के पोस्टर भी लगाए गए जिससे सबकुछ फीलगुड लगे. इसके बाद शुक्रवार की सुबह नीतीश कुमार और ललन सिंह एक साथ कांस्टिट्यूशन क्लब पहुंचे. साफ है कि इसका मकसद ललन सिंह के प्रति असम्मान जाहिर न हो यह दिखाना था.

बता दें ललन सिंह 31 जुलाई, 2021 में पार्टी के राष्ट्रीय कार्यकारिणी की बैठक में पहली बार राष्ट्रीय अध्यक्ष चुने गए थे. तत्कालीन राष्ट्रीय अध्यक्ष आरपी सिंह को हटाकर उन्हें यह जिम्मेदारी दी गई थी. दूसरी बार चुनाव हुआ और 5 दिसंबर 2022 को दोबारा राष्ट्रीय अध्यक्ष बने. एक बार चुनाव होने के बाद राष्ट्रीय अध्यक्ष का कार्यकाल 3 साल के लिए होता है, ऐसे में ललन सिंह का कार्यकाल 2 साल बचा हुआ है. लेकिन 2024 लोकसभा चुनाव और आने वाले समय में गठबंधन को लेकर नीतीश कुमार बड़ा फैसला ले सकते हैं. इसलिए राष्ट्रीय अध्यक्ष की कुर्सी अपने पास या फिर ऐसे नजदीकी को देना चाहते हैं जिनसे उन्हें कोई परेशानी ना हो.

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