PATNA : जो लोग प्रभु श्रीराम का विरोध करते हैं, उनके लिए लाल कृष्ण आडवाणी को भारत रत्न से सम्मानित किया जाना बहुत बड़ा तमाचा है। यह कहना है बिहार के डिप्टी सीएम सम्राट चौधरी का। हालांकि उन्होंने किसी का नाम नहीं लिया, लेकिन यह स्पष्ट था कि उनका इशारा लालू प्रसाद और उनके परिवार पर है।
दिल्ली रवाना होने से पहले पटना एयरपोर्ट पर मीडिया से बात करते हुए सम्राट चौधरी ने कहा कि आदरणीय लाल कृष्ण आडवाणी ने श्रीराम को वापस लाने के लिए लंबी लड़ाई लड़ी है। उन्होंने उन्हें भारत रत्न दिए जाने को ऐतिहासिक फैसला बताया। साथ ही कहा कि यह उन लोगों के लिए तमाचा है, जिन्होंने प्रभु श्रीराम का खिलाफत की थी। सम्राट चौधरी ने इस दौरान आडवाणी जी को बिहार की तरफ भारत रत्न दिए जाने पर बधाई दी।
आडवाणी को लालू ने किया था गिरफ्तार
बता दें कि लालकृष्ण आडवाणी ने सोमनाथ से अयोध्या की रथयात्रा निकाली थी. 25 सितंबर से शुरू हुई रथयात्रा 30 अक्टूबर को अयोध्या पहुंचने वाली थी. लालू यादव ने इसी रथयात्रा को रोकने की योजना बनाई थी. इसके लिए उन्हें लालकृष्ण आडवाणी को गिरफ्तार करना था। जब 23 अक्टूबर को आडवाणी की रथ समस्तीपुर से गुजर रही थी, उस वक्त तत्कालीन मुख्यमंत्री लालू यादव उनकी गिरफ्तारी की व्यूह रचना तैयार कर चुके थे। उन्होंने सारी योजना रामेश्वर उरांव, राजकुमार सिंह सहित सीएम आवास पर मौजूद लोगों को बताई। रामेश्वर उरांव और राजकुमार सिंह ने 23 अक्टूबर की सुबह पौने पांच बजे आडवाणी जी के कमरे का दरवाजा खटखटाया. उन्होंने खुद ही दरवाजा खोला. उन्होंने पूछा आप लोग कौन हैं. सभी ने अपना परिचय देने के बाद उनकी गिरफ़्तारी के वारंट की बात बताई. आडवाणी जी ने पंद्रह मिनट का समय मांगा, ताकि वे तैयार हो सकें. अधिकारियों ने उनसे कहा कि अगर आप किसी को साथ ले चलना चाहें, तो ले चल सकते हैं।
रिपोर्ट - अभिजीत सिंह