DESK : क्रिकेट में बल्लेबाजी करनेवाली टीम के साथ अब गेंदबाजी करनेवाली टीम को भी टाइम आउट के दायरे में ला दिया गया है। जिस तरह बल्लेबाज के आउट होने के बाद नए बल्लेबाज को तीन मिनट में पिच पर आना होता है। उसी तरह अब गेंदबाजी करनेवाली टीम को दो ओवरों के बीच लगनेवाले समय का निर्धारण कर दिया गया है। आईसीसी के नए नियमों के अनुसार अब दो ओवरों के बीच समय का अंतराल साठ सेकेंड से ज्यादा नहीं होगा। मैच में तीन बार ऐसा होता है तो बल्लेबाजी करनेवाली टीम के खाते में पांच रन अतिरिक्त जोड़ दिए जाएंगे। यह नया नियम फिलहाल पुरूष वनडे और टी-20 मैचों में ही लागू होगा।
वनडे विश्व कप 2023 के बाद आईसीसी ने क्रिकेट के नियमों में बदलाव किया है। यह बदलाव खेल की गति में तेजी लाने के लिए किया गया है। आईसीसी ने एक बयान में कहा, "अगर गेंदबाजी करने वाली टीम पिछले ओवर के पूरा होने के 60 सेकंड के भीतर अगला ओवर फेंकने के लिए तैयार नहीं होती है, तो एक पारी में तीसरी बार ऐसा होने पर पांच रन का जुर्माना लगाया जाएगा।
दरअसल, तीन दिन पहले भारत में खत्म हुए विश्व कप के दौरान जिस तरह से श्रीलंकाई बल्लेबाज एंजेलो मैथ्यूज को टाइम आउट करार दिया गया था। उसके बाद इस नियम को लेकर कई तरह की चर्चा शुरू हो गई थी। जिसमें कई लोग इस नियम को हटाने के विरोध में थे। वहीं कईयों का मानना था यह नियम सिर्फ बल्लेबाजी करनेवाली टीम के लिए ही है। जबकि क्षेत्ररक्षण करनेवाली टीम भी जानबूझकर गेंदबाजी कराने में देरी करती है, लेकिन उनके साथ ऐसा कोई नियम नहीं बनाया गया है।
क्या है टाइम आउट नियम?
आईसीसी के नियम 40.1.1 के अनुसार बल्लेबाज के आउट होने या रिटायर होने के अगले दो मिनट के अंदर अगले बल्लेबाज को गेंद खेलने के लिए तैयार होना चाहिए। अगर इसे पूरा नहीं किया जाता है तो यह टाइम्ड आउट के दायरे में आता है। हालांकि मेरलिबोन क्रिकेट क्लब (एमसीसी) के नियमों के तहत टाइम्ड आउट के लिए समय तीन मिनट है, लेकिन विश्वकप में आईसीसी नियमों के तहत इसके लिए दो मिनट रखे गए हैं।