SUPAUL: बिहार प्रदेश कांग्रेस के निर्देश पर बिहार के कई जिलों में एकदिवसीय धरने का आयोजन किया गया. इस एक दिवसीय धरने में कार्यकर्ताओं ने बिहार विधानसभा में हुए हंगामे और पुलिसिया कार्रवाई का विरोध किया. इसके साथ ही देश में चल रहे किसान आंदोलन को जिस तरह से सरकार तवज्जो नहीं दे रही है, किसानों की मांग पर ध्यान नहीं दिया जा रहा है, इस मामले पर सवाल उठाया गया.
कार्यक्रम में सभी कांग्रेस नेता और कार्यकर्ता शामिल हुए. इस मौके पर वक्ताओं ने कहा कि केंद्र सरकार के किसान विरोधी बिल के विरोध में वे लोग धरना दे रहे हैं. उन्होनें बताया कि केंद्र सरकार इस किसान विरोधी बिल को जब तक वापस नहीं ले लेती वे लोग इसी तरह धरना प्रदर्शन करते रहेंगे. वहीं यह भी कहा कि बीते दिनों बिहार विधानसभा मे जिस तरह विपक्षी विधायकों को पीटा गया है, वो इस कृत्य की घोर निंदा करते हैं. कांग्रेस नेता और कार्यकर्ता मांग करते हैं कि इस मामले की उच्चस्तरीय जांच होनी चाहिए. सरकार ने विपक्ष को लेकर जो दमनात्मक कार्रवाई की गई है, वो चिंता का विषय है.
इस एकदिवसीय धरना प्रदर्शन के दौरान कांग्रेस कार्यकर्ताओं ने नीतीश कुमार, बिहार बीजेपी सहित केंद्र सरकार के खिलाफ नारेबाजी की. साथ ही कहा कितीन महीने से अधिक समय से किसान धरने पर बैठे, मगर सरकार ने उनकी तरफ ध्यान देना ही बंद कर दिया है. किसान गरीबी और भुखमरी की जिंदगी जी रहे हैं, उन्हें उनकी उगाई फसलों की लागत नहीं मिल पाती है. सरकार के पास जाने पर सरकार भी किसानों की मांग से पल्ला झाड़ रही है. कांग्रेस पार्टी हमेशा से किसानों के हित में रही है और किसानों के साथ खड़ी है.