पटना. मुख्यमंत्री नीतीश कुमार ने दावा किया है कि प्रशांत किशोर चाहते थे कि जदयू का कांग्रेस में विलय हो जाए. उन्होंने शनिवार को लोकनायक जयप्रकाश नारायण की पुण्यतिथि पर श्रद्धा सुमन अर्पित करने के बाद ये बातें कहीं. प्रशांत किशोर की जन सुराज यात्रा पर कटाक्ष करते हुए सीएम नीतीश ने कहा कि पीके सिर्फ और सिर्फ भाजपा के एजेंडे पर चल रहे हैं. पीके जब जदयू में थे उस समय भी वे जदयू को कांग्रेस में विलय करने का सुझाव दिए थे.
उन्होंने कहा कि पीके ने 5 साल पहले जदयू को कांग्रेस में मर्ज की सलाह दी थी. लेकिन उनके सुझाव को नीतीश ने ठुकरा दिया था. पीके को भाजपा से प्रेरित बताते हुए नीतीश ने कहा कि मौजूदा समय में वे जो यात्रा कर रहे हैं वह भी भाजपा का एजेंडा है. भाजपा की रणनीति के तहत ही पीके लगातार जदयू और राजद पर कुछ से कुछ बोलते रहते हैं. वे जदयू और राजद का विरोध क्यों कर रहे हैं, इसलिए कि वे भाजपा से मिले हुए हैं.
पीके को जदयू में पद का ऑफर देने के दावे पर नीतीश ने कहा कि ये बातें पूरी तरह बेबुनियाद हैं. हमने कभी भी पीके को कोई ऑफर नहीं दिया था. वे खुद कुछ दिनों पहले हमसे मिलने आए थे. न कि हम लोगों ने उन्हें बुलाया था. अब वे भाजपा के एजेंडे के तहत फिर से उनके लिए काम कर रहे हैं और जदयू-राजद पर बोलते रहते हैं.
गौरतलब है कि पीके ने राज्य में बेरोजगारी और गरीबी को लेकर पिछले कुछ दिनों के दौरान नीतीश सरकार के खिलाफ कई बयान दिए हैं. यहां तक कि उन्होंने तेजस्वी यादव को भी घेरा है. एक दिन पहले ही उन्होंने कहा था था कि तेजस्वी यादव नौवी पास लेकिन वे राज्य में उप मुख्यमंत्री हैं क्योंकि वे लालू यादव के बेटे हैं. वहीं आम लोगों का नौवी पास बेटा चपरासी भी नहीं बन रहा है.