PM Awas Yojana: बिहार के अधिकारियों को चढ़ा फ्री के पैसों का चस्का! PM आवास योजना में घूस लेते पकड़े गए आवास सहायक! वीडियो वायरल होने के बाद DDC ने लिया एक्शन
बिहार के एक प्रखंड में पीएम आवास योजना के लाभार्थी से 20 हजार रुपये घूस लेते आवास सहायक भारत भूषण का वीडियो वायरल हुआ। प्रशासन ने तुरंत कार्रवाई करते हुए उनकी सेवा समाप्त कर दी।

PM Awas Yojana: प्रधानमंत्री आवास योजना (PM Awas Yojana) जैसे महत्वाकांक्षी और गरीबों के लिए संजीवनी बनी योजना में एक भ्रष्टाचार का बड़ा मामला बिहार के एक प्रखंड से सामने आया है। यहां के बारा जयराम पंचायत के जयपाल टोला गांव में तैनात आवास सहायक भारत भूषण का एक वीडियो इंटरनेट पर वायरल हुआ, जिसमें वे पीएम आवास के लाभार्थी के पिता से 20 हजार रुपये रिश्वत लेते साफ नजर आ रहे हैं।यह घटना सोशल मीडिया पर आग की तरह फैल गई और प्रशासनिक स्तर पर तत्परता से कार्रवाई करते हुए संबंधित अधिकारी की सेवा समाप्त कर दी गई।
कैसे सामने आया पूरा मामला?
लाभार्थी के पिता टुनटुन सिंह ने बताया कि उनके बेटे के नाम पर पीएम आवास योजना के तहत घर स्वीकृत हुआ था। योजना के पहले किस्त के 40,000 रुपये जब खाते में आए, तब आवास सहायक भारत भूषण ने उनसे दूसरी और तीसरी किस्त जारी करने के लिए 20,000 रुपये की रिश्वत की मांग की।टुनटुन सिंह ने स्वीकार किया कि वह मजबूरी में बैंक से राशि निकालकर 20 हजार रुपये सहायक को देने के लिए विवश हो गए। इस पूरे लेन-देन का वीडियो किसी व्यक्ति ने छुपकर रिकॉर्ड किया और उसे सोशल मीडिया पर वायरल कर दिया।वीडियो में भारत भूषण को रुपयों की गड्डी हाथ में लेते और उसे अपनी शर्ट के अंदर की जेब में रखते हुए साफ देखा जा सकता है। यह वीडियो अब पूरे क्षेत्र में चर्चा का विषय बना हुआ है।
डीडीसी ने मांगा जवाब, नहीं मिली संतोषजनक सफाई
घटना की जानकारी मिलते ही डिप्टी डेवलपमेंट कमिश्नर (डीडीसी) ने मामले की जांच शुरू कराई। प्रारंभिक रिपोर्ट आने के बाद भारत भूषण से स्पष्टीकरण मांगा गया, लेकिन जब उनका जवाब संतोषजनक नहीं पाया गया, तब प्रशासन ने तुरंत उनके अनुबंध को समाप्त करने का निर्णय लिया।डीडीसी ने यह भी कहा कि तीन दिनों के भीतर संबंधित कर्मी जिलाधिकारी के समक्ष अपील दायर कर सकते हैं, लेकिन फिलहाल उनकी सेवाएं समाप्त कर दी गई हैं। इस कार्रवाई से क्षेत्र में अन्य सरकारी कर्मियों को एक सख्त संदेश गया है।
योजना का दुरुपयोग या प्रशासन की लापरवाही?
यह घटना उस विडंबना को सामने लाती है, जब एक सरकारी योजना गरीबों के लिए बनाई जाती है, लेकिन जमीनी स्तर पर बैठे कर्मी अपने पद का दुरुपयोग कर लाभार्थियों से पैसे ऐंठते हैं।प्रधानमंत्री आवास योजना, जिसका उद्देश्य आर्थिक रूप से कमजोर वर्ग को पक्के मकान उपलब्ध कराना है, उसमें रिश्वतखोरी की यह घटना एक नीचे तक फैले भ्रष्टाचार की सच्चाई को उजागर करती है।ऐसी घटनाएं न सिर्फ योजना की छवि को धूमिल करती हैं, बल्कि उन गरीब परिवारों का भरोसा भी तोड़ देती हैं जो सरकार की योजनाओं के सहारे अपनी बुनियादी जरूरतें पूरी करना चाहते हैं।