मोकामा में बाहुबली अनंत सिंह ने 16 सितम्बर को बुलाया NDA कार्यकर्ता सम्मेलन, भाजपा -जदयू में रस्साकशी और एमएलसी नीरज ने अपना रखा है विरोधी तेवर

मोकामा सीट पर दावेदारी को लेकर भाजपा -जदयू में रस्साकशी और एमएलसी नीरज के विरोधी तेवर के बीच बाहुबली अनंत सिंह द्वारा 16 सितम्बर को एनडीए कार्यकर्ता सम्मेलन बुलाया गया है.

NDA workers conference in Mokama- फोटो : news4nation

Anant Singh : बिहार विधानसभा चुनाव 2025 से पहले मोकामा विधानसभा क्षेत्र एक बार फिर सियासी चर्चा में आ गया है। 16 सितंबर को मोकामा के मोर में एनडीए (राष्ट्रीय जनतांत्रिक गठबंधन) का कार्यकर्ता सम्मेलन आयोजित किया जा रहा है, जिसकी मेजबानी मोकामा के पूर्व विधायक बाहुबली नेता अनंत कुमार सिंह करेंगे। जदयू के कद्दावर नेता और केंद्रीय मंत्री ललन सिंह इसमें शामिल होंगे। इस कार्यक्रम को आगामी चुनाव की रणनीति और एनडीए में सीट शेयरिंग की दिशा तय करने वाला अहम पड़ाव माना जा रहा है।


अनंत कुमार सिंह हालांकि अभी औपचारिक रूप से जनता दल (यूनाइटेड) में शामिल नहीं हुए हैं, लेकिन खुद को एनडीए का नेता बताते हुए मोकामा सीट से टिकट के प्रबल दावेदार के रूप में खुद को पेश कर रहे हैं। अनंत सिंह की पत्नी नीलम देवी ने 2022 के उपचुनाव में राजद के टिकट पर जीत हासिल की थी, लेकिन बाद में 2024 में उन्होंने राजद से बगावत कर नीतीश सरकार को समर्थन दिया। इसके बाद अनंत सिंह ने भी ललन सिंह के लिए परोक्ष रूप से लोकसभा चुनाव 2024 में प्रचार कर एनडीए से नज़दीकियां और गहरी कीं। उस दौरान अनंत सिंह से पेरोल पर जेल से बाहर आये थे।


भाजपा और जदयू के बीच रस्साकशी

एनडीए कार्यकर्ता सम्मेलन को इस संदर्भ में भी महत्वपूर्ण माना जा रहा है क्योंकि मोकामा सीट को लेकर भाजपा और जदयू के बीच रस्साकशी बनी हुई है। 2022 के उपचुनाव में भाजपा ने बाहुबली ललन सिंह की पत्नी सोनम देवी को मैदान में उतारा था, जबकि अब फिर से भाजपा इस सीट पर दावा कर सकती है। ऐसे में जदयू द्वारा अनंत सिंह को आगे कर कार्यकर्ता सम्मेलन आयोजित करना कहीं न कहीं एक संदेश देने की कोशिश है कि पार्टी मोकामा सीट पर अपनी दावेदारी को मजबूत बना रही है।


नीरज ने विरोधी सुर 

हालांकि जदयू के भीतर ही अनंत सिंह को लेकर मतभेद साफ तौर पर नज़र आ रहे हैं। पार्टी के मुख्य प्रवक्ता और एमएलसी नीरज कुमार लगातार उनके खिलाफ बयानबाजी कर रहे हैं। नीरज कुमार का कहना है कि जदयू आपराधिक छवि वाले नेताओं को पार्टी से दूर रखना चाहता है। इससे स्पष्ट है कि अनंत सिंह की वापसी को लेकर पार्टी में दो फाड़ हो गई है। ऐसे में यह भी महत्वपूर्ण है कि नीरज कुमार इस कार्यकर्ता सम्मेलन में शामिल होते हैं या नहीं क्योंकि वे मूल रूप से मोकामा के हैं। 


 एकजुटता का संदेश या लड़ाई बढ़ेगी 

इस बीच, 16 सितंबर को होने वाला एनडीए कार्यकर्ता सम्मेलन सिर्फ एक संगठनात्मक कार्यक्रम नहीं बल्कि एक बड़ा सियासी संदेश भी होगा। यह कार्यक्रम यह संकेत दे सकता है कि क्या अनंत सिंह को औपचारिक रूप से एनडीए या जदयू में शामिल किया जाएगा या नहीं। साथ ही यह सम्मेलन एनडीए में सीटों के बंटवारे की गुत्थी को सुलझाने की दिशा में भी अहम भूमिका निभा सकता है। मोकामा की यह सियासी हलचल पूरे बिहार की राजनीति को प्रभावित कर सकती है। अब देखना यह होगा कि इस सम्मेलन से एनडीए में एकजुटता का संदेश निकलता है या दावेदारी की लड़ाई और गहराती है।