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BIHAR NEWS - डीएम का आदेश भी ठेंगे पर, 490 सरकारी स्कूलों में इस काम के नाम पर पैसों का हुआ भारी घोटाला, शिक्षा विभाग के एसीएस साहब देख लीजिए

BIHAR NEWS - भागलपुर में एक साल पहले कार्य का अब तक पालन नहीं किया गया है। यहां तक कि शिक्षा विभाग के पास भी इसको लेकर सटीक जानकारी नहीं है। वहीं जब मामले में डीएम ने जांच के आदेश दिए तो उसकी भी खानापूर्ति कर दी गई।

BIHAR NEWS - डीएम का आदेश भी ठेंगे पर, 490 सरकारी स्कूलों में इस काम के नाम पर पैसों का हुआ भारी घोटाला, शिक्षा विभाग के एसीएस साहब देख लीजिए

BHAGALPUR -  सरकार के द्वारा बच्चों को  स्कूल में शुद्ध  पीने के पानी के लिए बोरिंग लगाने का आदेश दिया गया.लगभग 490 विद्यालय को शिक्षा विभाग के द्वारा चिन्हित भी कर लिया गया. लेकिन विद्यालय में बोरिंग कार्य लोकसभा चुनाव के पूर्व से आज तक कार्य का संपादन नहीं किया गया है. जब इन सारी बातों कि जानकारी जिला के DPO बबीता कुमारी से लेने इतने दिनों में तीन बार उनके कार्यालय में गया.तो उनके द्वारा बताया गया कि 490 बोरिंग का टार्गेट था.जिसमें लगभग 150 बोरिंग का कार्य का समापन कर लिया गया है.आपको सही जानकारी 1 से 2 घंटों में उपलब्ध करा देंगे लेकिन 2 घंटों बाद जब उनसे मोबाइल पर फोन किया गया पहले कई दिन तो उनके द्वारा फोन ही नहीं उठाया गया. 

वहीं दूसरे दिन फोन ही काट दी गई. जब उनके what's app पर भी उनसे आकड़ों की जानकारी देने को मेसेज किया गया तो उनके द्वारा कोई भी response नहीं ली गई। वहीं स्थानीय ग्रामीण सह बीजेपी प्रखंड अध्यक्ष सुबोध कुमार यादव ने विभाग पर गंभीर आरोप लगाते हुए बताया कि सरकार काम करना चाहती है. लेकिन अधिकारि ही अपने कार्य को सही समय और गुणवत्ता पूर्ण कार्य नहीं कराती है.

बोरिंग की जांच के आदेश का नहीं हुआ पालन

जब विद्यालय के इस बोरिंग कि गहराई कि बात करें तो बहुत सारी बोरिंग की गहराई भी नियमानुकूल नहीं है. जिलाधिकारी डॉ नवल किशोर चौधरी द्वारा बोरिंग कि जांच का भी आदेश किया गया था. PHD विभाग के द्वारा जाँच किया गया तो बहुत सारे बोरिंग को ढलाई कर झांप दिया गया है. जिससे उचित जांच नहीं हो पाए. जहां सरकार यहां तक कि जिलाधिकारी द्वारा जनता को सरकार कि चल रही योजना कि जानकारी देने के लिए करोड़ों रुपये खर्च करती है. 

जनता को जानकारी देने के लिए कई अहम कदम उठाती है. लेकिन शिक्षा विभाग के DPO बबीता कुमारी द्वारा उनके आदेश पर पलीता लगाते दिख रहीं हैं. वहीं बहुत सारे विद्यालय में बोरिंग का कार्य तो किया गया लेकिन न वहां मोटर ही लगी है न ही पाइप ही फिटिंग कि गयी है. 

हम आपको बता दें कि इसी जिला में थाली खरीद में घोटाले की खबर प्रकाशित हुई थी. लेकिन जाँच का हवाला देकर मामला को ठंडा बस्ता में डाल दिया जाता है. अब देखना यह लाजमी होगा कि फिर इस मामला को जाँच का हवाला देकर ठंडा बस्ता में डाल दिया जाएगा. बोरिंग की पाइप गरा कर महीनों से छोड़ दिया है.

भागलपुर से balmukund kumar कि रिपोर्ट

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