Bihar Liquor Ban: बिहार में शराब मफियों पर कसा शिकंजा! एक्शन मोड में पुलिस, 30 धंधेबाजों लिस्ट तैयार, जब्त होगी 100 करोड़ रुपये से अधिक की संपत्ति

Bihar Liquor Ban: बिहार पुलिस ने शराब माफियाओं पर शिकंजा कसते हुए मुजफ्फरपुर में 100 करोड़ रुपये से ज्यादा की अवैध संपत्ति जब्ती की तैयारी शुरू की है। जानिए कौन-कौन इस कार्रवाई के निशाने पर हैं।

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Bihar Liquor Ban- फोटो : social media

Bihar Liquor Ban: बिहार में लागू शराबबंदी कानून को प्रभावी बनाने की दिशा में राज्य पुलिस एक्शन मोड में आ गई है। विशेषकर मुजफ्फरपुर जिले में जहां शराब माफिया नेटवर्क बहुत तेजी से फैला है, वहां पुलिस ने अब 100 करोड़ रुपये से अधिक की अवैध संपत्ति जब्त करने की दिशा में कार्रवाई तेज कर दी है।

पुलिस सूत्रों की मानें तो 30 से ज्यादा सक्रिय शराब माफिया चिन्हित किए गए हैं, जिनकी संपत्ति जब्ती का प्रस्ताव तैयार किया जा रहा है। इन माफियाओं में कुख्यात चुन्नू ठाकुर के नेटवर्क से जुड़े शातिर तस्कर भी शामिल हैं। पुलिस अब इन अपराधियों के स्वयं के नाम के अलावा परिवार व रिश्तेदारों के नाम की संपत्तियों का भी ब्यौरा खंगाल रही है।

चुन्नू ठाकुर के नेटवर्क पर पुलिस की नजर

मुजफ्फरपुर के चर्चित मिठनपुरा थाने से जुड़ा मामला हो या कुढ़नी क्षेत्र के रवि सहनी उर्फ मास्टर जैसे बड़े शराब तस्कर – सभी की संपत्तियों पर अब कानूनी शिकंजा कसने की तैयारी हो रही है।तीन साल पहले मिठनपुरा थाने में हुई गिरफ्तारी के दौरान अमित कुमार के पास से बरामद तीन रजिस्टर, जिनमें शराब सप्लाई का विस्तृत हिसाब दर्ज था, अब जांच का बड़ा आधार बन चुके हैं। इसी तरह, रवि मास्टर पर भी कई थानों में केस दर्ज हैं और उसकी संपत्ति का आकलन पुलिस द्वारा किया जा रहा है।

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हथियार तस्करों की भी संपत्तियां रडार पर

पुलिस का एक और बड़ा कदम उन हथियार तस्करों की अवैध संपत्तियों की जानकारी जुटाना है, जिनका नेटवर्क तुर्की, बरुराज और सदर थानों के क्षेत्रों में फैला हुआ है। हाल ही में 1600 और 500 कारतूस की बरामदगी के बाद जिन तस्करों की गिरफ्तारी हुई थी, उनकी संपत्ति की सत्यापन प्रक्रिया भी तेज कर दी गई है।

जहरीली शराब से मौतें और आरोपितों पर कड़ी नजर

बिहार में जहरीली शराब से मौतें भी सरकार और पुलिस के लिए गंभीर चिंता का विषय रही हैं। खासकर कांटी, सरैया, कटरा, मनियारी और काजी मोहम्मदपुर जैसे क्षेत्रों में जहरीली शराब से हुई दर्जनों मौतों के बाद, अब इन मामलों में नामजद शराब माफियाओं की संपत्तियों को भी जब्त किया जाएगा।पुलिस ने सभी संबंधित C.O. और निबंधन कार्यालयों से आरोपितों की संपत्ति का विस्तृत ब्योरा मांगा है, ताकि एक ठोस कानूनी कार्रवाई की जा सके।

अब बिहार में अवैध संपत्ति पर सरकार का शिकंजा

बिहार में यह पहल शराबबंदी कानून के प्रभावी क्रियान्वयन की दिशा में एक निर्णायक कदम मानी जा रही है। इसके पीछे सरकार का उद्देश्य यह स्पष्ट है कि सिर्फ गिरफ्तारी या जेल ही नहीं, बल्कि अवैध कमाई से बनी संपत्ति को भी खत्म किया जाए।यह रणनीति न केवल शराब के अवैध कारोबार को हतोत्साहित करेगी, बल्कि राज्य में कानून व्यवस्था और आर्थिक पारदर्शिता को भी मजबूती देगी।