Bihar News: 'मुखिया जी' की 13वीं शहादत दिवस पर उमड़ा जनसैलाब, भ्रष्टाचार और किसान-मजदूरों के हक की लड़ाई का लोगों ने लिया संकल्प!

Bihar News:अखिल भारतीय राष्ट्रवादी किसान संगठन ने अपने संस्थापक सुप्रीमो स्वर्गीय ब्रह्मेश्वर नाथ सिंह "मुखिया" जी की 13वीं शहादत दिवस पर श्रद्धांजलि अर्पित की

Brameshwar Mukhiya
एक विचार थे ब्रह्मेश्वर मुखिया - फोटो : reporter

Patna:मुखिया जी की 13 वीं पुण्यतिथि पर लोगों ने श्रद्धांजलि दी । 1 जून को ग्राम खोपीरा में अखिल भारतीय राष्ट्रवादी किसान संगठन ने अपने संस्थापक सुप्रीमों, स्वर्गीय ब्रह्मेश्वर नाथ सिंह "मुखिया" जी की 13वीं शहादत दिवस पर श्रद्धांजलि सभा का आयोजन किया गया।राष्ट्रीय अध्यक्ष कुमार ईदुभूषण की अध्यक्षता और मोनु सिंह के कुशल संचालन में आयोजित इस कार्यक्रम में सैकड़ों की संख्या में किसान, मजदूर और सामाजिक कार्यकर्ता शामिल हुए, जिन्होंने मुखिया जी को श्रद्धासुमन अर्पित किए।

निशुल्क स्वास्थ्य शिविर: मुखिया जी के सेवा भाव को किया नमन

शहादत दिवस समारोह का एक महत्वपूर्ण हिस्सा निशुल्क हेल्थ कैंप था, जिसमें सैकड़ों लोगों की शारीरिक जांच की गई और उन्हें मुफ्त दवाइयां उपलब्ध कराई गईं। यह पहल मुखिया जी के जनसेवा और समाज कल्याण के प्रति समर्पण को दर्शाती है।

मुख्य वक्ता नवीन कुमार: 'मुखिया जी' की दूरदर्शिता और बलिदान का स्मरण

कार्यक्रम के मुख्य वक्ता, सामाजिक कार्यकर्ता नवीन कुमार ने मुखिया जी के जीवन और उनके संघर्ष पर प्रकाश डाला। उन्होंने बताया कि भारतीय राष्ट्रवादी किसान संगठन की स्थापना आखिर क्यों करनी पड़ी। नवीन कुमार ने तत्कालीन लालू-राबड़ी सरकार पर गंभीर आरोप लगाते हुए कहा कि उस सरकार का उद्देश्य किसानों और मजदूरों को जातिगत और सामाजिक तौर पर हिंसा में उलझाकर बिहार की सत्ता में बने रहना और भ्रष्टाचार के माध्यम से "मलाई खाना" था।

नवीन कुमार ने आगे कहा कि जब किसान नेता ब्रह्ममेश्वर नाथ सिंह मुखिया जेल से रिहा होने के बाद किसान और मजदूरों को एकजुट करने के लिए बिहार भर में घूम-घूम कर सरकार के खिलाफ गरीबों और किसानों की आवाज उठाने लगे, तो वे सरकार की "आँखों की किरकिरी" बन गए। उन्होंने आरोप लगाया कि उनकी हत्या "सत्ता संरक्षित गुंडों" द्वारा करा दी गई।

श्रद्धांजलि सभा में उमड़ा जनसैलाब: न्याय और अधिकार की लड़ाई का संकल्प

शहादत दिवस में शामिल वक्ताओं में सामाजिक कार्यकर्ता नरेंद्र सिंह, मंटु सिंह, अमित राय (मुखिया), अमित सिंह, सुरेंद्र सिंह, रविशंकर सिंह उर्फ भोलू प्रिंस, भोला जी, गोपाल जी सहित सैकड़ों लोगों ने मुखिया जी को श्रद्धांजलि अर्पित की। इस अवसर पर उपस्थित जनसमूह ने मुखिया जी के सिद्धांतों पर चलने और किसान-मजदूरों के हक की लड़ाई को आगे बढ़ाने का संकल्प लिया। यह कार्यक्रम न केवल मुखिया जी को श्रद्धांजलि थी, बल्कि उनके आदर्शों और संघर्षों को पुनर्जीवित करने का एक प्रयास भी था।