बीडी कॉलेज में भुवनेश्वरी दयाल की याद में आयोजित व्याख्यानमाला में बिहार की गिरती उच्च शिक्षा को सुधारने पर हुई चर्चा, सबके सहयोग को बताया जरुरी

बीडी कॉलेज में भुवनेश्वरी दयाल की याद में आयोजित व्याख्यानमा

Patna - बीडी कॉलेज द्वारा पहले भुवनेश्वरी दयाल व्याख्यानमाला का आयोजन अधिवेशन भवन सभागार में किया गया। इस व्याख्यानमाला की पहली कड़ी के मुख्य अतिथि एवं वक्ता पटना साहिब के माननीय सांसद, पूर्व केंद्रीय मंत्री एवं संविधान विशेषज्ञ रविशंकर प्रसाद जी थे । अन्य सम्मानित अतिथियों में विश्वविद्यालय सेवा आयोग के अध्यक्ष प्रो. गिरीश चौधरी, पाटलिपुत्र विश्वविद्यालय के कुलपति प्रो उपेन्द्र प्रसाद सिंह एवं मगध विश्वविद्यालय के कुलपति प्रो शशि प्रताप शाही थे ।

मुख्य अतिथि एवं वक्ता रविशंकर प्रसाद ने अपने वक्तव्य में कहा कि भारत अपने 75 वर्षों के संवैधानिक सफ़र में कई पड़ावों के बाद लगातार परिपक्व हुआ है और संविधान देश का मौलिक क़ानून है । उन्होंने ऐतिहासिक परिप्रेक्ष्य में तथ्यात्मक रूप से बात रखते हुए संविधान की मूल प्रति भी सभागार में दिखाई ।

उन्होंने बताया कि भारत का संविधान यहाँ की सांस्कृतिक विरासत को भी प्रस्तुत करता है क्योंकि भारत मात्र एक भौगोलिक आईडिया नहीं अपितु सांस्कृतिक विरासत इससे लिपटी हुई है।

 प्रो गिरीश चौधरी ने बिहार की उच्च शिक्षा की गिरती स्थिति पर चिंता व्यक्त करते हुए इसको बेहतर बनाने का दायित्व शिक्षकों को सौंपा और इस दिशा में सकारात्मक प्रयास करने को कहा। पाटलिपुत्र विश्वविद्यालय के कुलपति महोदय, प्रो उपेन्द्र प्रसाद सिंह ने सबको अपने कर्तव्य निर्वहन के मार्फ़त देश सेवा में योगदान देने को कहा ।

प्रो शशि प्रताप शाही ने प्रो रत्ना अमृत की कर्मठता की तारीफ़ की और कहा कि कोई भी संस्था सबके सहयोग से ही आगे बढ़ती है। प्रो रत्ना अमृत , प्रधानाचार्या, बी डी कॉलेज ने अपना संकल्प दोहराते हुए कहा कि बी डी कॉलेज को नई ऊँचाइयों तक ले जाना है। उन्होंने कहा कि कॉलेज के संस्थापक भुवनेश्वरी दयाल के नाम से व्याख्यानमाला की शुरुआत कर उन्हें सच्ची श्रद्धांजलि दी जा रही है । 

संचालन डॉ दिव्या कुमार ने किया जबकि धन्यवाद ज्ञापन डॉ अमित कुमार ने दिया ।कार्यक्रम का प्रयोजन इण्डियन बैंक द्वारा किया गया था ।