Rajendra Setu : राजेंद्र सेतु रहेगा 10 घंटे तक पूरी तरह बंद, पटना और बेगूसराय आना-जाना होगा मुश्किल

उत्तर और दक्षिण बिहार को जोड़ने वाला राजेंद्र सेतु 12 अप्रैल की रात मरम्मत कार्य के कारण पूरी तरह बंद रहेगा.करीब दस घंटे तक आम यातायात प्रतिबंधित रहेगा, सिर्फ आपातकालीन वाहन चलेंगे.

Rajendra Setu
Rajendra Setu - फोटो : news4nation

Rajendra Setu : राजेंद्र सेतु पर चल रहे निर्माण कार्य को लेकर 12 अप्रैल की रात से अगले दस घंटों के लिए पुल पर वाहनों का परिचालन बंद रहेगा. इस कारण उत्तर और दक्षिण बिहार के कई जिलों में आना-जाना परेशानी भरा हो जाएगा. पटना जिले के मोकामा स्थित राजेंद्र सेतु पर चल रहे निर्माण कार्यों को लेकर  12 अप्रैल की रात 10 बजे से अगली सुबह यानी 13 अप्रैल सुबह 6 बजे तक पुल पर वाहनों की आवाजाही नहीं होगी. 


पुल के मरम्मत कार्य में लगी एजेंसी के अनुसार  राजेंद्र सेतु के स्पान संख्या 12 के ढलाई की वजह से पुल पूरी तरह से बंद रहेगा. 122 मीटर लंबा स्पेन का ढलाई कार्य किया जाएगा. पुल के सडक मार्ग को इसी कारण बंद किया जाएगा. एसपीएस इंडिया कंस्ट्रक्शन प्राइवेट लिमिटेड के अधिकारी अरुण गुप्ता के अनुसार पुल के सड़क पर होने वाली इस बंदी की सूचना पहले ही पटना और बेगुसराय जिला प्रशासन को दी गई है. 


दरअसल, राजेंद्र सेतु के स्पान संख्या 12 के ढलाई का पहले 10 अप्रैल को होना था. लेकिन अचानक से मौसम में आये बदलाव के कारण 10 अप्रैल की शाम तेज आंधी- पानी ने निर्माण कार्य में बाधा उत्पन्न कर दिया. इस कारण अब  स्पान संख्या 12 के ढलाई का कार्य अब 12 अप्रैल को किया जाना निर्धारित किया गया है. 

Nsmch


पुल के करीब 10 घंटे तक बंद रहने के दौरान पटना, बेगूसराय और लखीसराय के रास्ते विभिन्न जिलों को राजेंद्र सेतु को पार कर आने जाने वाले वाहनों को वैकल्पिक मार्गों का इस्तेमाल करने का सुझाव दिया गया है. दरअसल, राजेंद्र सेतु के रास्ते उत्तर बिहार से पूर्वोत्तर भारत तक जाने वाली राष्ट्रीय राजमार्ग गुजरती है. ऐसे में हर दिन इस पुल से हजारों वाहनों की आवाजाही होती है. लेकिन यहां तक चल रहे निर्माण कार्य के कारण अब 12 अप्रैल की रात 10 बजे से अगली सुबह यानी 13 अप्रैल सुबह 6 बजे तक पुल पर वाहनों की आवाजाही नहीं होगी.


अपातकालीन वाहन को अनुमति

राजेंद्र सेतु 10 अप्रैल की रात 10 बजे से अगली सुबह 6 बजे तक वाहनों के आवागमन बंद रहने के दौरान आपातकालीन वाहनों का परिचालन होता रहेगा. एम्बुलेंस जैसे आपात सेवा वाले वाहनों को विशेष परिस्थितियों में आने-जाने की अनुमति होगी. हालांकि इसके अतिरिक्त न तो भारी वाहन और ना ही मंझोले और छोटे वाहनों का आवागमन होगा. यहां तक कि दोपहिया वाहन का परिचालन भी नहीं होगा. 


1959 में बना राजेद्र सेतु

मोकामा में गंगा नदी पर बिहार का पहला रेल सह सड़क पुल राजेंद्र सेतु का उद्घाटन 1959 में हुआ था. उस समय पुल पर वाहन क्षमता करीब 16 टन थी. बाद में इसकी वाहन क्षमता करीब 32 टन हो गयी. वहीं हाल के वर्षों में राजेंद्र सेतु पर सड़क मार्ग में कई प्रकार की परेशानी आई. पिछले कई महीने से इसका निर्माण कार्य चल रहा है. अब करीब 10 घंटे पुल बंद होने से यात्रियों, माल ढुलाई और स्थानीय निवासियों को असुविधा हो सकती है.