Illegal telephone exchange:बिहार में अवैध फोन एक्सचेंज का खुलासा, ईओयू ने पकड़ा अंतरराष्ट्रीय साइबर ठगी रैकेट, क्या आपका नंबर भी इस्तेमाल हो रहा था?

Illegal telephone exchange:आर्थिक अपराध इकाई ने भोजपुरमें एक अंतरराष्ट्रीय साइबर ठगी गिरोह का पर्दाफाश किया है।...

Illegal telephone exchange
बिहार में अवैध फोन एक्सचेंज का खुलासा- फोटो : social Media

Illegal telephone exchange:आर्थिक अपराध इकाई (ईओयू) ने बिहार के भोजपुर जिले के नारायणपुर गांव में एक अंतरराष्ट्रीय साइबर ठगी गिरोह का पर्दाफाश किया है। छापेमारी के दौरान ईओयू ने चार सिम बॉक्स बरामद किए और एक आरोपी मुकेश को गिरफ्तार किया। इन सिम बॉक्स के जरिए अवैध फोन एक्सचेंज संचालित हो रहा था, जिसमें विदेशों से आने वाले इंटरनेट कॉल  को लोकल GSM कॉल में बदलकर साइबर ठगी की जा रही थी।

ईओयू की प्रारंभिक जांच में सामने आया कि इन सिम बॉक्स से हर दिन हजारों कॉल किए जा रहे थे, जिससे दूरसंचार विभाग को भारी राजस्व हानि हो रही थी। कुछ ही दिन पहले ईओयू ने सुपौल में भी आधा दर्जन से अधिक सिम बॉक्स बरामद कर इसी तरह के नेटवर्क का भंडाफोड़ किया था।

डीएसपी पंकज कुमार के नेतृत्व में गठित टीम ने यह छापेमारी की। ईओयू के मुताबिक, बरामद सिम बॉक्स का इस्तेमाल बड़े पैमाने पर साइबर अपराधों में किया जा रहा था। दूरसंचार विभाग को हुए नुकसान का आकलन फिलहाल जारी है।

जांच में यह भी खुलासा हुआ कि कुछ कॉमन सर्विस सेंटर (CSC) संचालक गांव-गांव में कैंप लगाकर फर्जी सरकारी योजनाओं के नाम पर लोगों का बायोमेट्रिक डाटा इकट्ठा करते थे। यह डाटा बाद में दूरसंचार कंपनियों के रजिस्टर्ड डिस्ट्रीब्यूटर्स और रिटेलर्स की मिलीभगत से बड़ी संख्या में सिम कार्ड हासिल करने में इस्तेमाल होता था। इन सिम कार्ड को सिम बॉक्स में लगाकर देशभर में साइबर ठगी के नेटवर्क को संचालित किया जा रहा था।

ईओयू ने साफ किया है कि इस नेटवर्क के तार अंतरराष्ट्रीय सिंडिकेट से जुड़े हैं। साइबर क्राइम का यह मॉड्यूल केवल बिहार ही नहीं बल्कि पूरे देश में सक्रिय था। जांच एजेंसी अब गिरफ्तार आरोपी से पूछताछ कर नेटवर्क के अन्य सदस्यों की तलाश में जुटी है।

यह कार्रवाई साइबर ठगी के खिलाफ ईओयू की बड़ी सफलता मानी जा रही है, जिसने दूरसंचार विभाग को करोड़ों रुपये की राजस्व हानि से बचाया है।