Bihar News : बिहार का शोक कहे जाने वाले कोसी नदी से एक बार फिर से उत्तर बिहार के दर्जनों जिलों पर भीषण बाढ़ का खतरा मंडरा रहा है. नेपाल में हुई भारी बारिश से बिहार में कोसी नदी उफान पर है. कोसी बराज से शनिवार सुबह 9:00 तक 4 लाख 49 हजार क्यूसेक पानी बढ़ते क्रम में छोड़ा गया. पानी के दबाव को देखते हुए बराज के सभी 56 फाटक खोले दिए गए हैं. वहीं अनुमान है कि आज शाम तक करीब 6 लाख क्यूसेक या उससे भी ज्यादा पानी कोसी बराज से छोड़ दिया जाएगा. यह हालिया वर्षों में एक दिन में कोसी बराज से छोड़ा जाने वाला सर्वाधिक पानी होगा. वहीं इससे बिहार पर भारी जल प्रलय का खतरा मंडरा रहा है.
बाढ़ प्रबंधन विभाग ने कोशी नदी के दायरे में आनेवाले आठ जिलों में हाई अलर्ट घोषित कर दिया है। साथ ही इन जिलों के प्रशासन और पुलिस को निर्देश दिया गया है बाढ़ से बचाव के लिए अपनी पूरी तैयारी कर लें। विभाग के अनुसार नेपाल से कोसी नदी में एक साथ 6.81 लाख क्यूसेक पानी छोड़ा जाएगा. बाढ़ आपदा प्रबंधन ने बताया कि नेपाल में हुई भारी बारिश के कारण कल दोपहर कोशी नदी में एक साथ 6,81, 639 लाख क्यूसेक पानी छोड़ा जाएगा। जिससे आकस्मिक और अकस्मात स्थिति उत्पन्न हो सकती है। साथ ही कटाव, सीपेज, पाईपिंग, अंडर माईनिंग, ओभर-टॉपिंग, फ्लैश फ्लड आदि होने की संभावना भी हो सकती है।
इन जिलों में हाई अलर्ट :
बाढ़ आपदा प्रबंधन ने जिन जिलों में अलर्ट रहने के लिए कहा है, उनमें सुपौल, सहरसा, मधेपुरा, मधुबनी, दरभंगा, खगड़िया, भागलपुर, कटिहार शामिल है। इन आठ जिलों के प्रशासन और पुलिस को निर्देश दिया गया है कि बाढ़ आपदा के दृष्टिकोण से सभी आवश्यक ऐहतियाती कदम उठायी जाय, तथा तटबंध के नदी भाग के आवासितों को इसकी सूचना देते हुये यथोचित कार्रवाई की जाय। साथ ही बाढ़ आपदा के लिये जिलास्तर पर गठित दल की लगातार गश्ती सुनिश्चित करें।
जल संसाधन विभाग के बाढ़ प्रबंधन सुधार सहायक केन्द्र, पटना द्वारा जारी पूर्वानुमान के अनुसार, 28 सितंबर 2024 की रात 12 बजे वाल्मीकिनगर स्थित गंडक बराज से 6.00 लाख क्यूसेक और 28 सितंबर 2024 की दोपहर 12 बजे वीरपुर स्थित कोशी बराज से 6.81 लाख क्यूसेक पानी प्रवाहित होने की संभावना है, जो अब तक के अधिकतम जलश्राव के सन्निकट होगा। विभाग ने सभी क्षेत्रीय अभियंताओं को तटबंधों और संरचनाओं की सुरक्षा के दृष्टिकोण से आगामी 48 घंटों तक संवेदनशील और अतिसंवेदनशील स्थलों पर कैम्प करने के निर्देश दिए हैं।
विभाग के अंतर्गत सभी पदाधिकारियों का अवकाश अगले आदेश तक रद्द कर दिया गया है। संभावित आपदा की स्थिति को देखते हुए संबंधित जिला प्रशासन को भी आवश्यक ऐहतियाती कार्रवाई करने के निर्देश दिए गए हैं। तटबंध के नदी भाग में रहने वाले लोगों को सतर्क करते हुए, तटबंधों की सुरक्षा के लिए गश्ती बढ़ाने का आदेश दिया गया है।