Education Department: शिक्षा विभाग के द्वारा एक ऐसा विज्ञापन निकाला गया है जिसे देख सब हैरान रह गए। वहीं अब सोशल मीडिया पर ये विज्ञापन जमकर वायरल हो रहा है। यूजर्स इस विज्ञापन को लेकर शिक्षा विभाग को ट्रोल कर रहे हैं। ये विज्ञापन टीचर और चौकीदार के बहाली के लिए निकाली गई है। लेकिन विज्ञापन में शिक्षक का वेतन जहां कम है वहीं चौकीदार का वेतन शिक्षकों से भी अधिक है। जिसे लेकर अब शिक्षा विभाग की किरकिरी हो रही है।
शिक्षको से ज्यादा चौकीदार का वेतन
दरअसल, मामला हिमाचल शिक्षा विभाग से जुड़ा है। विज्ञापन के अनुसार हिमाचल प्रदेश के चंबा जिले में स्थित एक राजकीय वरिष्ठ माध्यमित पाठशाला में टीचर और चौकीदार के लिए आवेदन मांगे गए हैं। वहीं इस अजब-गजब के विज्ञापन में शिक्षक को कम और चौकीदार को ज्यादा वेतन देने की बात कही गई है। अब इसको लेकर सोशल मीडिया पर खूब विवाद हो गया है। इस मामले में चंबा के डिप्टी डायरेक्टर एजुकेशन पीएल चड़ैक ने सफाई देते हुए कहा कि शिक्षक की नियुक्ति पार्ट टाइम के लिए होनी है, जबकि चौकीदार फुल टाइम रखा जाना है। इसलिए टीचर का मानदेय कम है और चौकीदार का ज्यादा रखा गया है।
टीचर का वेतन 8450 रुपये और चौकीदार का 10,630 रुपये
बता दें कि, चंबा जिला के भरमौर के कस्तूरबा गांधी बालिका विद्यालय द्वारा एक विज्ञापन जारी किया गया है। विज्ञापन के अनुसाप पार्ट टाइम टीचर की योग्यता बीएसएसी/एमएससी और बीएड के साथ TET बताई गई है, जबकि चौकीदार की शैक्षणिक योग्यता 10वीं पास है, लेकिन टीचर का वेतन 8450 रुपये और चौकीदार का 10,630 रुपये है। दोनों पदों के लिए साक्षात्कार 20 अक्टूबर को एसडीएम कार्यालय भरमौर में होंगे। दोनों पदों पर आवेदन के लिए शैक्षणिक और उम्र के अलावा कुछ शर्तें भी हैं, जैसे आवेदक बीपीएल परिवार से होना चाहिए। इन दोनों पदों पर एसएमसी के जरिए भर्ती की जाएगी।
सोशल मीडिया पर हो रहा वायरल
वहीं टीचर को चौकीदार की तुलना में 2180 रुपए कम मानदेय देने की बात विज्ञापन में कही गई है। विभाग का यह विज्ञापन सोशल मीडिया पर खूब वायरल हो रहा है। लोग इसे बेरोजगारों के साथ मजाक बता रहे हैं। पार्ट टाइम टीचर के साथ साथ चौकीदार दोनों को न्यूनतम मानदेय भी नहीं दिया जा रहा है। हिमाचल में न्यूनतम दिहाड़ी 400 रुपए है। इस हिसाब से कम से कम 12 हजार रुपए मानदेय होना चाहिए। मगर शिक्षा विभाग के इस विज्ञापन के अनुसार, न तो टीचर और न ही चौकीदार को न्यूनतम मानदेय दिया जा रहा है।