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एम्स पटना के 12 साल पूरे होने पर कार्यक्रम का हुआ आयोजन, सांसद छेदी पासवान सहित गणमान्य लोगों ने की शिरकत

एम्स पटना के 12 साल पूरे होने पर कार्यक्रम का हुआ आयोजन, सांसद छेदी पासवान सहित गणमान्य लोगों ने की शिरकत

PATNA : एम्स पटना ने कार्यकारी निदेशक डॉ. गोपाल कृष्ण पाल के मार्गदर्शन में आज अपना 12 वां स्थापना दिवस मनाया। आज ही के दिन सन 2012 में एम्स पटना की स्थापना हुई थी और इसी दिन यहां एमबीबीएस और बीएससी नर्सिंग की कक्षाएं शुरू हुई थी। तब से आज तक एम्स पटना ने एक लंबी और सफल दूरी तय की है। इस राज्य के लोगों को चिकित्सा और और रिसर्च सुविधा उपलब्ध कराने में अहम् भूमिका निभाई है। समारोह की शुरुआत दीप प्रज्वलित कर किया गया। जिसमें कार्यकारी निदेशक, डॉ. गोपाल कृष्ण पाल, चिकित्सा अधीक्षक डॉक्टर सी एम् सिंह, अधिष्ठाता डॉ उमेश भदानी फैकेल्टी एडमिन और कार्डियक सर्जरी के विभाग अध्यक्ष डॉक्टर संजीव कुमार, डीन  डॉ प्रेम कुमार , डॉ अनूप कुमार, डॉ पूनम मदनी शामिल थे। इस मौके पर एम्स पटना के अध्यक्ष, प्रोफेसर (डॉ.) सुब्रत सिन्हा उद्घाटन समारोह के मुख्य अतिथि थे। प्रो (डॉ) निहार रंजन विश्वास, कुलपति, श्री बालाजी विद्यापीठ, पुडुचेरी, और पूर्व निदेशक, आईजीआईएमएस, पटना, विशिष्ट अतिथि के तौर पर शामिल थे। कार्यक्रम में संसद सदस्य (लोकसभा) और एम्स पटना के आईबी सदस्य छेदी पासवान ने भी भाग लिया।

एम्स के कार्यकारी निदेशक ने इस समारोह को सम्बोधित करते हुए कहा कि एम्स चिकित्सा सुविधा प्रदान करने मेडिकल शिक्षा , नर्सिंग चिकित्सा के क्षेत्र और रिसर्च में देश में अपना स्थान बनाया है।' “इस साल एनआईआरएफ रैंकिंग एम्स पटना को 27वीं रैंक हासिल करना एक उत्कृष्ट उपलब्धि है, इस तथ्य को देखते हुए कि पिछले वर्षों में एनआईआरएफ रैंकिंग में भाग लेने के बावजूद संस्थान को देश के सर्वश्रेष्ठ 50 मेडिकल कॉलेजों में नहीं चुना गया था। रैंकिंग के अनुसार अब हम अपनी रैंकिंग में सुधार करने का प्रयास करेंगे और देश के सर्वश्रेष्ठ 10 चिकित्सा संस्थानों में शामिल होने का प्रयास करेंगे।'' उन्होंने बताया की जल्दी हम कई उपलब्धियां हासिल करने वाले हैं जिसमें गंभीर रोगी के रोगों के मरीजों के लिए 300 बेड  का क्रिटिकल केयर यूनिट, संक्रमण की पहचान के लिए वायरोलॉजी लैब, उत्क्रमित बर्न सेंटर और रिसर्च लैब के साथ-साथ छात्रों के सर्वांगीण व्यक्तित्व विकास के लिए आउटडोर स्टेडियम की स्थापना के लिए काम शुरू हो चुका है और जल्दी ही यह मूल  रूप से एम्स की कार्य क्षमता को बढ़ाने के लिए डॉक्टर एवं कर्मचारियों को कैंपस में ही रहने के लिए  9 मंजिला ब्लॉक की बिल्डिंग भी बनाने का काम शुरू हो गया है।  

एम्स का उद्देश्य देश के इस क्षेत्र एवं इस राज्य के जनता के लिए खासकर जो आर्थिक रूप से अंतिम पायदान पर खड़े व्यक्ति को सस्ते दर पर और उत्तम चिकित्सा प्रदान करना है।' विगत वर्षों में विशेषज्ञ फैकेल्टी की तेजी से नियुक्ति हुई है और अब फैकल्टी के स्वीकृत पदों में करीब 80% पर भरे हुए हैं। साथ-साथ नर्स, तकनीशियन और नॉन फैकेल्टी पदों पर और प्रशासन किए पदों पर भी नियुक्ति की गई है। जिससे कि एम्स पूरी क्षमता के साथ काम कर सके समय-समय पर चिकित्सा के क्षेत्र में प्रतिष्ठित व्यक्तित्व को बुलाकर छात्रों एवं चिकित्सकों के लिए सेमिनार और कॉन्फ्रेंस कराए जाते हैं।   

इस समारोह को सम्बोधित करते हुए एम्स, पटना  निकाय एवं गर्वनिंग बॉडी के अध्यक्ष दो सुब्रता सिंह ने कहा की एम्स जैसे संस्थान का प्रेसिडेंट होना प्रतिष्ठा के साथ-साथ नए दायित्वों के वहां करने का संदेश देता है।   मुझे खुशी है कि देश के राष्ट्रीय महत्व के संस्थान एम्स पटना का मार्गदर्शन करने का मौका मिला है। यहां के निर्देशक और फैकल्टी की कार्य क्षमता और उनके डेडीकेशन से मैं प्रभावित हूं और इस  संस्थान ने इस प्रदेश  की जनता की आकांक्षाओं के प्रति सफल साबित हो रहा  है। छेदी पासवान ने कहा कि हमारे प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी के नेतृत्व में और उनके दूरदर्शी योजनाओं के कारण भारतवर्ष स्वास्थ्य के क्षेत्र में काफी उन्नति कर रहा है और देश के हर एक नागरिक को किसी ने किसी योजना से उनको चिकित्सा करने में कोई दिक्कत नहीं हो रही है। आयुष्मान भारत की महत्वाकांक्षी योजना हो या प्रधानमंत्री सहायता को शो या विभिन्न राज्यों के मुख्यमंत्री सहायता कोष से हर व्यक्ति को उच्च उच्च तकनीक वाली शिक्षा चिकित्सा मिल रही है। और देश भर में 22 एवं स्थापित करके नरेंद्र मोदी ने स्वास्थ्य के क्षेत्र में एक पड़ा कदम उठाया है।  

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