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लोकसभा से सस्पेंड होने के बाद डिंपल यादव ने जताई नाराजगी, सांसदों के खिलाफ हुई कार्रवाई को बताया लोकतांत्रिक व्यवस्था के लिए दुर्भाग्यपूर्ण...

लोकसभा से सस्पेंड होने के बाद डिंपल यादव ने जताई नाराजगी, सांसदों के खिलाफ हुई कार्रवाई को बताया लोकतांत्रिक व्यवस्था के लिए दुर्भाग्यपूर्ण...

DESK: लोकसभा के कार्यवाही के दौरान मंगलवार को भी हंगामा जारी रहा। आज भी कई सांसदों को सस्पेंड कर दिया गया। वहीं इस सांसदों में समाजवादी पार्टी की नेता, सासंद और अखिलेश यादव की पत्नी डिंपल यादव भी है। वहीं अपने निलंबन को लेकर डिंपल यादव ने नाराजगी जताई है। साथ ही उन्होंने इस मामले में बीजेपी पर जमकर निशाना भी साधा है। बता दें कि, निलंबित किए गए सांसदों में दानिश अली, प्रतिभा सिंह, दिनेश चंद्र यादव, एसटी हसन, शशि थरूर, सुप्रिया सुले और रवनीत सिंह बिट्टू शामिल हैं।

सांसदों निलंबन पर सपा सांसद डिंपल यादव ने कहा, "आज लगभग 40 से ज्यादा सांसद निलंबित हुए हैं। कल भी लोकसभा और राज्यसभा में मिलाकर 80 से ज्यादा सांसद निलंबित हुए थे। यह लोकतांत्रिक व्यवस्था के लिए दुर्भाग्यपूर्ण है। जो वातावरण हम देख रहे हैं, जहां हम संसद में अपनी बात नहीं रख पा रहे हैं। वह सरकार की पूरी विफलता को दर्शाता है।" उन्होंने कहा कि, हम चाहते हैं कि, गृह मंत्री आएं और 13 दिसंबर को जो घटना हुई है उसके बारे में बात करें औऱ हमारी बातों को सुनें।

मालूम हो कि, संसद की सुरक्षा में सेंधमारी के मुद्दे पर पक्ष और विपक्ष के बीच संग्राम मंगलवार को भी मचा रहा. एक बार फिर से लोकसभा से 49 विपक्षी सांसदों को मंगलवार को निलंबित कर दिया है. इस तरह अब दोनों सदनों से 141 सांसदों को निलंबित किया जा चुका है. लोकसभा में दो युवकों के सुरक्षा उपायों को धता बताते हुए हंगामा करने के मुद्दे पर विपक्षी दलों ने जहाँ गृह मंत्री अमित शाह से सदन में बयान देने की मांग की है, वहीं सत्ता पक्ष फ़िलहाल इसके लिए तैयार नहीं है. इतना ही नहीं विपक्ष की मांग है कि जांच के लिए जेपीसी यानी जॉइंट पार्लियामेंट कमेटी का गठन हो, वहीं सत्ता पक्ष की ओर से स्पष्ट किया गया है कि जांच एजेंसियां अपना काम कर रही हैं. 

ऐसे में संसद सुरक्षा पर संवाद के बदले संग्राम का दौर बरकरार है. विपक्ष बार बार इसे मोदी सरकार की असफलता बता रहा है. मोदी और शाह से इन सवालों का जवाब मांग रहा है. सुरक्षा चूक के लिए सरकार को जिम्मेदार ठहराकर विपक्षी खेमा सदन में आवाज बुलंद किए है. इन सबके बीच राज्यसभा और लोकसभा से विपक्षी सदस्यों के आचरण को गैर अनुशासित बताकर उनके खिलाफ कड़ी कार्रवाई की गई है. अब तक दोनों सदनों से 141 सदस्यों का निलंबन हो चुका है. 

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