नयी दिल्ली: लोक जनशक्ति पार्टी में हुई टूट के बाद पार्टी के अंदर की कहानी अब खुल के सामने आ रही है। इन सभी चीजों को देखकर यह लग रहा है कि इस पूरी कहानी की पटकथा धरातल पर उतरने के बाद कहीं न कहीं दोनों तरफ से दिल में कोई गांठ है।
मिली खबर के अनुसार सोमवार को जब यह खबर आयी कि चिराग को छोडकर पार्टी के अन्य सभी सांसदों ने अपनी अलग राह चुन ली है, तब से राजनीति में लगातार गर्मी आती चली गयी।
चिराग के लिए नहीं है कोई जगह !
पार्टी के पांच सांसदों के अलग होने की खबर के बीच चिराग खुद ड्राइव करते हुए अपने चाचा और पार्टी सांसद पशुपति कुमार पारस के पास पहुंचे लेकिन चाचा की तरफ से किसी भी प्रकार की नरमी नहीं दिखायी दी। इस दौरान चिराग करीब 10 मिनट तक पशपति पारस के दरवाजे पर हॉर्न बजाते रहे लेकिन उनके लिए दरवाजा नहीं खुला। काफी देर के बाद चिराग अंदर आये लेकिन घर में कोई उपस्थित नहीं था।