भागलपुर- जहां शिक्षा विभाग में सुधार की कवायद जारी है वहीं राज्य शिक्षा शोध एवं प्रशिक्षण परिषद के निर्देशक एवं जिलाधिकारी भागलपुर के आदेश को ठेंगा दिखाते हुए मध्य विद्यालय परवता के प्रधानाध्यापक ने अलग हीं आदेश जारी कर दिया है. मध्य विद्यालय परवता के प्रधानाध्यापक रंजीत प्रसाद मंडल अपने मन मुताबिक आदेश जारी कर दिया.
राज्य शिक्षा शोध एवं प्रशिक्षण परिषद के निर्देशक एवं जिलाधिकारी भागलपुर के द्वारा सभी अधिकारियों को निर्देशित किया गया था कि होने वाला अर्धवार्षिक परीक्षा बोर्ड परीक्षा के तर्ज़ पर कदाचार मुक्त हो. जिससे छात्र छात्राओं के पढ़ाई की स्थिति का समीक्षा हो सके. विद्यार्थियों को और अच्छा कैसे किया जाय उसका रास्ता तलाशा जाय.
लेकिन स्थानीय अधिकारियों और कर्मियों पर इसका कोई असर होता नहीं दिख रहा है. निर्देशक के आदेशानुसार सभी विद्यालयों के प्रधानाध्यापक एवं एक वरीय शिक्षक को सिर्फ अपने विद्यालय में विद्यालय पर्यवेक्षक एवं एक सहायक के तौर पर अपने विद्यालय में कार्य करने का आदेश दिया गया था.अन्य सभी सहायक शिक्षक को दूसरे विद्यालय में वीक्षक के रूप में कार्य लेने का आदेश दिया गया था. लेकिन इस्माइलपुर के मध्य विद्यालय राज्य शिक्षा शोध एवं प्रशिक्षण परिषद बिहार पटना निर्देशक एवं जिलाधिकारी के आदेशों का खुले तौर पर उलंघन हो रहा है .इस्माइलपुर के मध्य विद्यालय परवत्ता के प्रधानाध्यापक अपने नया नियम बना कर अपने नियमानुसार अपने विद्यालय के कई शिक्षकों को विद्यालय कार्यों के लिए रख लिया गया.और अपने ही विद्यालय में वीक्षण कार्य करवाया जा रहा है. जब इन सारी बातों की जानकारी जब विद्यालय के प्रधानाचार्य से मोबाइल पर पूछा गया तो उनके द्वारा बताया गया.मेरे विद्यालय में ज्यादा बच्चा है जिस कारण से 11 रूम में परीक्षा लिया जाता है.जिसमें अध्यापक की कमी हो गई थी. इन्हीं कारणों से अपने विद्यालय के कई अध्यापक को पुनः रख कर कार्य करवाने लगे.
जब इस विषय की जानकारी BPM श्रवण कुमार सेपूछा गया तो उन्होंने कहा कि अवश्यकता के अनुसार कई शिक्षकों को विक्षण कार्य के लिए हटाया भी गया है. लेकिन कुछ शिक्षक अपने मूल स्थान पर ही रखा गया है. वहीं विद्यालय का कार्य लिया जा रहा है.
इस बाबत प्रखंड शिक्षा पदाधिकारी के कार्यालय के डाटा इंट्री सह लेखापाल सुजीत कुमार से इस संबंध में जब पूछा गया. तो उनके द्वारा बताया गया कि निर्देशक एवं जिलाधिकारी के आदेश के अनुकूल ही सारा कार्य किया गया है.विशेष जानकारी संबंधित विद्यालय के प्रधानाचार्य से पूछ लिया जाय.सबसे बड़ा सवाल यह उठता है कि अपने से वरीय अधिकारियों के आदेश का अनुपालन इसी तरह से किया जाता है.
रिपोर्ट- बालमुकुंद शर्मा