मुजफ्फरपुर में हवा के झौंके से गिरी 12 लाख के लागत से बनी श्मशान की चारदिवारी गिरी, कार्यशैली पर उठ रहा सवाल

MUZAFFARPUR :- जिले के औराई प्रखंड में हो रहे विकास कार्यों में अनियमितता की बात लगातार सामने आने के बावजूद भी प्रतिनिधियों पर किसी तरह की कार्रवाई नहीं होने से प्रतिनिधियों का मनोबल सर चढ़कर बोल रहा है वही ताजा मामला मुजफ्फरपुर जिले के औराई प्रखंड के पंचायतो में पंचायती राज व्यवस्था से हो रहे विकास कार्यों में अनियमितता के हमेशा नये मामले सामने आ रहे हैं। 

विगत दिनों सडक निर्माण मे अनियमितता के मामले का खुलासा हुआ और राशि वसुली का आदेश दिया गया है। वहीं अब ताजा मामला औराई प्रखंड के रतवारा पुर्वी पंचायत के वनवासपुर का है जहां 12 लाख के लागत से करवाया गया चारदीवारी निर्माण के चंद महीने के बाद ही हवा के हल्के झोंके में भराकर गिर गई है। 

ज्ञात हो कि 15वीं वित्त आयोग के द्वारा पंचायत एवं और जिला पार्षद निधि के द्वारा  शमशान घाट की मिट्टी भराई से लेकर चहारदीवारी का निर्माण के दौरान ही कार्य में काफी अनियमित्तता बरती गई,  जिसकी वजह से चहारदीवारी भ्रष्टाचार का भेट चढ़ गयी।  

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मुखिया और जिला पार्षद ने कराया निर्माण

बताया जा रहा है इस योजना में दो जनप्रतिनिधियों ने मिलकर कार्य करवाया,  जिसमें पंचायत की मुखिया शैल देवी ने 7 लाख 65 हजार पांच सौ लागत की राशी से चारदिवारी का निर्माण किया, वहीं जिला परिषद निधी के द्वारा 4 लाख 98 हजार 800 की लागत लगाकर कार्य किया गया। लेकिन इसके बावजूद भी कार्य पूर्ण रुप से सफल नहीं हो सका और एक तरफ से चारदिवारी भरभरा कर गिर गयी।

इस संबंध मे  मुखिया प्रतिनिधि का कहना है कि  असामाजिक तत्व द्वारा दीवार गिरा दी गई। जांच के लिए थाने को दिया गया है।

जबकि मामले में औराई थाना अध्यक्ष रूपक कुमार का कहना है कि कोई इस मामले में प्राथमिक दर्ज नहीं की गई है जांच मे दिवार गिराने का मामला प्रतीत नही होता है, दिवार अपने आप गिरी। अब आपको बताते चले कि एक तरफ प्रतिनिधि जहां अज्ञात लोगों पर चार दिवारी गिरने का आरोप लगा रहे हैं तो दूसरी तरफ थाना अध्यक्ष इस पूरे मामले से इनकार कर रहे हैं वही इस आरोप प्रत्या आरोप में सरकार के विकास कार्यों में लगे 12 लाख रुपए का अब क्या होगा यह देखने वाली बात होगी