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मुंगेर दंगे के बाद चारों तरफ हो रही लिपि सिंह की आलोचना ... जानिए लिपि सिंह सहित इन पुलिस ऑफिसर का पोलिटिकल कनेक्शन...

मुंगेर दंगे के बाद चारों तरफ हो रही लिपि सिंह की आलोचना ... जानिए लिपि सिंह सहित इन पुलिस ऑफिसर का पोलिटिकल कनेक्शन...

पटना : दुर्गा पूजा विसर्जन के दौरान बिहार के मुंगेर जिले में हुए दंगे के बाद चारों तरफ मुंगेर के एसपी लिपि सिंह की आलोचना हो रही है। एक तरफ जहां विपक्ष की सरकार उनकी इस कार्यप्रणाली की रवैया से नाखुश हैं और इन पर कार्रवाई करने की मांग कर रहा है तो दूसरी तरफ लिपि सिंह का जिस पॉलिटिकल पार्टी से डायरेक्ट कनेक्शन है पर वह अभी तक चुप है आइए आज हम आपको बताते हैं बिहार के कुछ ऐसे अधिकारी के बारे में जिनका डायरेक्ट पॉलिटिकल कनेक्शन है।

आपको बताते चलें कि बिहार विधानसभा चुनाव की तैयारी अपने जोरो  पर है ऐसे में विपक्ष के नेता लगातार सरकार पर हमला करते हैं और मुद्दत खोजते रहते हैं ऐसे में कुछ ऐसे भी अधिकारी हैं जो खुद चुनाव नहीं लड़ते हैं पर उनका पॉलिटिकल परिवार से डायरेक्ट कनेक्शन है। चुनाव में एट तरफ उनके ऊपर फ्री एंड फेयर चुनाव कराने का जिम्मा है तो दूसरी तरफ उनके अपने चुनावी मैदान में किस्मत आजमा रहे हैं। इन सब बातों को लेकर कई बार इन लोगों पर के नेताओं द्वारा आरोप भी लगाया गया है। और चुनाव आयोग द्वारा कार्रवाई भी किया जाता है। आइए आज हम आपको बताते हैं उन अधिकारियों के बारे में जिन पर विपक्ष के नेताओं द्वारा लगातार चुनाव में अपने प्रत्याशी की मदद करने का आरोप लगता है । पर आज तक अधिकतर लोग उन्हें और उनकी पॉलिटिकल कनेक्शन के बारे में नहीं जानते हैं।


सबसे पहले हम बात करेंगे मुंगेर में हुए दंगे के बाद चर्चा में आई एसपी लिपि सिंह के बारे में तोहफा जदयू सांसद आरसीपी सिंह की बेटी है। पहली बार वह चर्चा में तब आई  जब वह बाढ़  एसपी थी और बिहार में लोकसभा चुनाव चल रहा था। उस वक्त मैदान में जदयू सांसद ललन सिंह और विधायक आनंद सिंह की पत्नी मैदान में थी। उस दौरान उनके द्वारा की गई कार्रवाई के बाद अनंत सिंह ने उन पर अपने पिता को फायदा पहुंचाने की कोशिश करने का आरोप लगाया था। जिसके बाद उन्हें चुनावी ड्यूटी से हटा दिया गया था ।हालांकि चुनाव के बाद एक बार फिर उन्हें बाढ़ की एएसपी बना दिया गया था।

दूसरा नाम आता है शैश‌व यादव का ये मोतिहारी के एएसपी हैं और मोहिउद्दीनगर से राजद विधायक एज्या यादव के करीबी रिश्तेदार हैं। एएसपी शैशव यादव तब सबसे ज्यादा चर्चा में आए थे, जब भाजपा के प्रदेश अध्यक्ष और सांसद संजय जायसवाल ने उनपर गंभीर आरोप लगाते हुए उनके खिलाफ विशेषाधिकार हनन का प्रस्ताव लाया था। संजय जायसवाल ने तब कहा था कि 9 दिसंबर 2019 को लोकसभा में नागरिकता संशोधन बिल पेश होना था, इसमें बहस और वोटिंग में भाग लेने के लिए उन्हें ही पार्टी में सांसदों के लिए व्हिप जारी करना था। लेकिन इससे ठीक पहले मोतिहारी के एएसपी ने उनकी गिरफ्तारी का आदेश जारी कर दिया। संजय जायसवाल ने आरोप लगाया था कि ये सारा खेल इसलिए था कि पार्टी के सांसदों के लिए व्हिप जारी ना हो पाए। विशेषाधिकार हनन के मामले में शैशव यादव को जबाब तलब भी किया गया है।

पटना के एसएसपी उपेन्द्र कुमार पर भी विशेषाधिकार हनन का मामला चल रहा है। असल में जब संजय जायसवाल के खिलाफ गिरफ्तारी का वारंट जारी हुआ था, तब उपेन्द्र कुमार मोतिहारी एसपी के पद पर थे। इसलिए इस मामले में उनसे भी संसदीय समिति ने जबाब तलब किया है। संजय जायसवाल ने शैशव और उपेन्द्र दोनों पर साजिश के तहत कार्रवाई करने के आरोप लगाए थे।

हाजीपुर सदर एसडीपीओ राघव दयाल, जदयू से सांसद कौशलेन्द्र के करीबी रिश्तेदार हैं। राघव दयाल को इस रिश्तेदारी के कारण सत्ता के करीब रहनेवाला पुलिस पदाधिकारी माना जाता है. हालांकि उनपर किसी पार्टी विशेष या प्रत्याशी विशेष को फायदा पहुंचाने की कोशिश करने का कोई आरोप अबतक नहीं लगा है।
जदयू के राज्यसभा सांसद आरसीपी सिंह के दामाद और बाढ़ एएसपी लिपि सिंह के पति सुहर्ष भगत फिलहाल बांका में डीएम हैं। हालांकि लिपि की तरह सुहर्ष भगत पर अबतक किसी ने राजनीतिक दबाव के तहत काम करने के आरोप नहीं लगाए हैं। लेकिन आरटीआई एक्टिविस्टों की संस्था नागरिक अधिकार मंच ने जदयू सांसद से करीबी संबंध होने और डीएम के तौर पर उनके प्रभाव के मद्देनजर चुनाव आयोग से उन्हें चुना है |

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