NEWS4NATION की खबर पर लगी मुहर, चार दिन पहले की थी मांझी के नीतीश की नाव से उतरने की भविष्यवाणी

PATNA :  नीतीश मंत्रिमंडल से डॉ संतोष सुमन का इस्तीफा देना भले ही मंगलवार को सुर्खियां बना हो। लेकिन NEWS4NATION ने पिछले सप्ताह ही बता दिया था कि नीतीश और मांझी अब ज्यादा दिनों तक साथ नहीं रहेंगे। बिहार के पूर्व मुख्यमंत्री जीतन राम मांझी द्वारा नीतीश कुमार के खिलाफ बगावती सुर अपनाने का सिलसिला पिछले सप्ताह ही खुलकर सामने आ गया था। सीएम नीतीश से पिछले सप्ताह हुई मांझी की मुलाकात के बाद ही NEWS4NATION ने जो संभावना जाहिर की थी। वह चार दिनों के भीतर ही सच साबित हुई। 

दरअसल पिछले सप्ताह ही NEWS4NATION ने बताया था कि नीतीश कुमार ने जीतन राम मांझी को साफ कहा है कि वे सौदेबाजी नहीं करें। नीतीश ने सख्त लहजे में मांझी को कहा था कि आप मजबूती से हमारे साथ महागठबंधन में रहेंगे तो आपको उचित सम्मान मिलेगा। इसके लिए नीतीश ने पिछले सप्ताह ही मांझी को शर्तों की एक सूची थमा दी थी। जिसमें हिंदुस्तानी अवाम मोर्चा के जदयू में पूर्णकालिक विलय करने की शर्त भी शामिल थी। 

हालांकि उस दौरान जीतन राम मांझी और उनके बेटे संतोष सुमन ने  NEWS4NATION के सवाल पर कहा था कि वे नीतीश कुमार के साथ ही रहेंगे। उन्होंने नीतीश से अलग होने की खबरों को तरजीह नहीं देने की बात कही थी। हालांकि मांझी और संतोष सुमन के इनकार के बाद फिर से NEWS4NATION ने विश्वस्त सूत्रों से खबर चलाई कि मांझी कभी भी नीतीश की नाव से उतर सकते हैं। मांझी के भविष्य को लेकर की गई भविष्यवाणी के सच होने के कई कारण थे।

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मांझी का वर्ष 1980 से अब तक राजनीतिक इतिहास कहता है कि वे कभी भी सुविधा की राजनीति करते हैं। कांग्रेस से सियासी सफर शुरू करने वाले मांझी ने जिसकी सत्ता उसके साथ की रणनीति पर 43 वर्षों की सियासत की है। वे कांग्रेस, लालू यादव, नीतीश कुमार के साथ राजनीति करने के बाद हिंदुस्तानी अवाम मोर्चा बनाए हैं। ऐसे में लोकसभा चुनाव 2024 के पहले सीटों के उठापटक में मांझी को पता है कि इस बार नीतीश उन्हें बेहद कम सीटों पर सिमटा सकते हैं। ऐसे में बिहार में अपने कुनबे को मजबूत करने में लगी भाजपा नीत एनडीए में जाने पर मांझी को बेहतर सीटों का विकल्प मिल सकता है। मांझी की इस रणनीति की भनक पिछले सप्ताह ही लग गई थी। 

इसी वजह से NEWS4NATION ने बताया था कि मांझी अब गिनती के दिन ही सीएम नीतीश के साथ हैं। मांझी के चार दिनों तक किए गए नानुकर और नीतीश से अलग होने की खबरों को नकारने के बाद अंततः वही हुआ जिसकी भविष्यवाणी की गई थी। जीतन राम मांझी अब नीतीश की नाव से उतर चुके हैं।

प्रियदर्शन शर्मा की रिपोर्ट