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पथ निर्माण में 'भ्रष्ट' इंजीनियरों की भरमारः धनकुबेर इंजीनियरों को कंट्रोल करने वाले 'वो' भी होते हैं माला-माल

पथ निर्माण में 'भ्रष्ट' इंजीनियरों की भरमारः धनकुबेर इंजीनियरों को कंट्रोल करने वाले 'वो' भी होते हैं माला-माल

PATNA: पथ निर्माण विभाग में करोड़पति इंजीनियरों की भरमार है। एक-दो की बात छोड़िए अधिकांश इंजीनियर धनकुबेर हैं। सिर्फ इंजीनियर ही नहीं बल्कि इस विभाग के वो लोग भी दोनों हाथ से माल बटोरते हैं जिनके हाथ इंजीनियरों के नियंत्रण की कमान होती है। पथ निर्माण विभाग में किस तरह से बोली लगती है और उसमें कौन लोग शामिल होते हैं यह सबको पता है। जानकार बताते हैं कि पथ निर्माण में नोटों की सेज पर सिर्फ इंजीनियर ही नहीं बल्कि वो भी सोते हैं। वसूली का पैसा ऊपर तक जाता है। निगरानी ब्यूरो ने 2019 से लेकर अब तक पथ निर्माण विभाग के कई धनकुबेर इंजीनियरों पर शिकंजा कसा है। आज भी पटना में एक कार्यपालक अभियंता के आवास पर निगरानी की छापेमारी हुई है।   

नोटों की सेज पर सोने वाला इंजीनियर

पिछले दो सालों में निगरानी ब्यूरो की की रेड में पथ निर्माण विभाग के धनकुबेर अफसरों की पोल खुली है। एक नहीं बल्कि अनेक ऐसे इंजीनियर मिले जिनके पास अकूत संपत्ति का पता चला। निगरानी टीम जब इंजीनियरों के ठिकानों पर छापेमारी की तो माल देख हक्का-बक्का रह जाती है। पथ निर्माण विभाग का एक इंजीनियर तो नोटों की सेज पर सो रहा था। वो भ्रष्ट इंजीनियर दीवान पलंग में नोट भरकर रखे हुए था। निगरानी ने जब छापेमारी की 2 करोड़ 36 लाख रू नकद मिला था। मामला 8 जून 2019 की है। निगरानी ब्यूरो ने पटना के पटेलनगर स्थित पथ निर्माण के कार्यपालक अभियंता सुरेश प्रसाद के घर पर छापेमारी की थी। जिसमे इंजीनियर 14 लाख रिश्वत लेते गिरफ्तार हुआ था. जब उसके घर की तलाशी ली गयी तो उसके पलंग के नीचे से 2 करोड़ 36 लाख नकद सहित करीब 10 करोड़ की संपत्ति का पता चला था.

बाथरूम में नोटों की गड्डी को जलवा दिया था इंजीनियर 

अब पथ निर्माण विभाग के दूसरे धनकुबेर इंजीनियर की बात कर लेते हैं। नवंबर 2019 में निगरानी ब्यूरो ने पटना में एक कार्यपालक अभियंता के घर पर छापेमारी की थी। पथ निर्माण विभाग कटिहार में बतौर कार्यपालक अभियंता के पद पर पदस्थापित रहे अरविंद कुमार को निगरानी ने 16 लाख रू घूस लेते गिरफ्तार किया था। निगरानी टीम की छापेमारी देख पत्नी ने नोटों की गड्डियों को बाथरूम में जला दिया था।इस मामले में धनकुबेर इंजीनियर अरविंद कुमार की पत्नी रेणु देवी के खिलाफ भी निगरानी ने भ्रष्टाचार से संबंधित साक्ष्य मिटाने के आरोप में राजीवनगर थाने में केस दर्ज करवाया था।  

पूर्व मंत्री के रिश्तेदार इंजीनियर के घर से मिला 1.43 करोड़ कैश

 अगस्त 2021 में निगरानी ने एक और बड़ी कार्रवाई की थी। ब्यूरो ने भाजपा कोटे से पूर्व मंत्री व कद्दावर विधायक का दामाद जो पथ निर्माण में कार्यपालक अभियंता है उनके ठिकानों पर छापेमारी की। आय से अधिक मामले में निगरानी की टीम ने कार्यपालक अभियंता रविद्र कुमार के खिलाफ कार्रवाई की .पटना के पुनाइचक मोहल्ले में पथ निर्माण विभाग के कार्यपालक अभियंता के आवास की तलाशी ली गयी .जिसमें एक करोड़ 43 लाख रुपये कैश, 67 लाख रुपये के सोने-चांदी के जेवर, विभिन्न बैंक के 15 खातों में निवेश के कागजात,20 लाख रुपये के फिक्स डिपोजिट और जमीन के 8 कागजात बरामद हुए.

अब 15 लाख कैश बरामद

मंगलवार 15 सितंबर को निगरानी ब्यूरो ने पथ निर्माण विभाग के एक और कार्यपालक अभियंता के आवास की तलाशी ली। आय से करीब 2 करोड़ अधिक संपत्ति अर्जित करने के मामले में निगरानी ने गुलजारबाग पथ प्रमंडल के कार्यपालक अभियंता कौंतेय कुमार के पटना आवास की तलाशी ली। तलाशी में लगभग 15 लाख रू नकद, आधा किलो सोना, एक किलो चांदी, 8-10 पासबुक, जमीन-प्लैट के कई कागजात मिले हैं। ये तो सिर्फ बानगी है। दरअसल कई ऐसे इंजीनियर हैं जिनकी संपत्ति का कोई लेखा-जोखा नहीं। ऐसा नहीं कि पथ निर्माण विभाग के इंजीनियर ही भ्रष्ट हैं बल्कि सरकारी राशि की लूट में व्हाईट कॉलर वाले भी शामिल होते हैं. 



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