बिहार उत्तरप्रदेश मध्यप्रदेश उत्तराखंड झारखंड छत्तीसगढ़ राजस्थान पंजाब हरियाणा हिमाचल प्रदेश दिल्ली पश्चिम बंगाल

LATEST NEWS

इस वर्ष इस दिन मनाया जाएगा श्रीकृष्म जन्माष्टमी, बांके बिहारी मंदिर में तैयारियां शुरु, सुरक्षा के लिए 2500 जवान रहेंगे तैनात...

इस वर्ष इस दिन मनाया जाएगा श्रीकृष्म जन्माष्टमी, बांके बिहारी मंदिर में तैयारियां शुरु, सुरक्षा के लिए 2500 जवान रहेंगे तैनात...

DESK: श्रीकृष्ण जन्माष्टमी हिंदू धर्म के सबसे प्रमुख त्योहारों में से एक है। कृष्ण भक्त इस दिन का इंतजार पूरे साल करते हैं। कृष्ण भक्त धूमधाम से इस दिन को मनाते हैं। श्रीकृष्ण के जन्मोत्सव के उपलक्ष्य में मनाया जाता है। कृष्णा भगवान विष्णु के आठवें अवतार हैं। और इसी दिन उन्होंने अवतार लिया था। श्रीकृष्ण जन्माष्टमी भाद्रपद माह के कृष्ण पक्ष की अष्टमी तिथि को मनाया जाता है। इस साल यह 26 अगस्त को मनाया जाएगा। ऐसी मान्यता है कि इस व्रत का पालन करने से कान्हा जी के साथ राधा रानी की भी कृपा प्राप्त होती है।

कब है श्रीकृष्ण जन्माष्टमी

हिंदू पंचांग के अनुसार, भाद्रपद माह के कृष्ण पक्ष की अष्टमी तिथि की शुरुआत 25 अगस्त, 2024 दिन रविवार को रात 3 बजकर 39 मिनट पर होगी। वहीं, इसका समापन 26 अगस्त, 2024 दिन सोमवार को रात 2 बजकर 19 मिनट पर होगा। ऐसे में जन्माष्टमी 26 अगस्त को मनाई जाएगी।

बांके बिहारी मंदिर में इस दिन मनाई जाएगी त्योहार

वहीं यूपी की धार्मिक नगरी मथुरा-वृन्दावन में भगवान श्रीकृष्ण का जन्मोत्सव दो दिन मनाया जाएगा। जिसके लिए व्यापक सुरक्षा के इंतजाम किये जा रहे हैं। मथुरा के श्रीकृष्ण जन्मस्थान सहित सभी प्रमुख मंदिरों में जन्माष्टमी का पर्व 26 अगस्त की मध्यरात्रि को मनाया जाएगा, जबकि वृन्दावन के ठाकुर बांके बिहारी मंदिर में जन्माष्टमी 27 अगस्त की रात्रि में मनाई जाएगी। ऐसे में यहां आने वाले श्रद्धालु दो-दो दिन जन्माष्टमी का आनन्द ले सकेंगे।

सुरक्षा के लिए ढ़ाई हजार पुलिसकर्मी रहेंगे तैनात

वहीं अधिकारियों ने बताया कि ब्रज में इन दिनों श्रीकृष्ण का 5251वां जन्मदिन धूमधाम से मनाने के लिए व्यापक तैयारियां चल रही हैं। एसएसपी ने बताया कि सुरक्षा के लिए मुख्यालय से 2500 पुलिसकर्मी मांगे गए हैं। वृन्दावन स्थित ठाकुर बांकेबिहारी मंदिर में श्रीकृष्ण जन्माष्टमी का पर्व 27 अगस्त को मनाया जाएगा तथा मध्य रात्रि पश्चात ठाकुर जी की मंगला आरती दो बजे की जाएगी। दरअसल, मंदिर परंपरा के अनुसार जिस तिथि में सूर्योदय होता है उसी तिथि में जन्माष्टमी मनाई जाएगी।  

मंगला आरती की विशेषता

बता दें कि, मंगला आरती विशेष आरती है जो वर्ष में एक बार, केवल इसी दिन की जाती है। ठाकुर बांके बिहारी मंदिर के इतिहास के जानकार एवं सेवायत आचार्य प्रह्लाद बल्लभ गोस्वामी ने बताया कि 27 अगस्त को निर्धारित समय पर ही दर्शन व आरतियां की जाएंगी। रात 12 बजे से आराध्य का महाभिषेक होगा, जिसके दर्शन आम दर्शनार्थियों के लिए सुलभ नहीं होंगे। इसके उपरांत रात लगभग दो बजे मंगला आरती होगी। कुछ दशक पहले तक ये मंगला आरती भोर में चार बजे होती थी, जिसमें सीमित संख्या में ही भक्त सम्मिलित होते थे।

पूजा करने की विधि

 जन्माष्टमी के दिन सुबह जल्दी उठकर पवित्र स्नान करें और भक्तिपूर्वक कठोर व्रत रखने का संकल्प लें। पूजा अनुष्ठान शुरू करने से पहले घर और पूजा कक्ष को साफ करें। लड्डू गोपाल जी का पंचामृत से अभिषेक करें। फिर उन्हें नए सुंदर वस्त्र, मुकुट, मोर पंख और बांसुरी आदि से सजाएं। पीले चंदन का तिलक लगाएं। उन्हें पंजीरी, पंचामृत, फल और मिठाई आदि चीजों का भोग लगाएं।

भगवान कृष्ण मंत्र

1. ऊँ नमो भगवते श्रीगोविन्दाय नम:, 2. हरे कृष्ण हरे कृष्ण, कृष्ण कृष्ण हरे हरे, हरे राम हरे राम, राम राम हरे हरे, 3. कृष्णाय वासुदेवाय हरये परमात्मने। प्रणत क्लेशनाशाय गोविन्दाय नमो नम:

Editor's Picks