सरकारी स्कूलों में शिक्षा की गुणवत्ता सुधारने और आधुनिक सुविधाओं से लैस करने के उद्देश्य से भारत सरकार "पीएमश्री स्कूल" योजना के तहत स्कूलों को विशेष दर्जा दे रही है। इस अभियान के पांचवें चरण में पटना जिले के 575 स्कूलों को "पीएमश्री" का दर्जा देने की प्रक्रिया शुरू हो चुकी है। जिला कार्यक्रम पदाधिकारी अमृत कुमार ने सभी प्रखंड शिक्षा पदाधिकारियों को निर्देश दिया है कि वे सूची में शामिल स्कूलों को 5 दिसंबर तक पीएमश्री पोर्टल पर ऑनलाइन आवेदन कराने को सुनिश्चित करें। इस प्रक्रिया के तहत स्कूलों के प्राचार्य की निगरानी में यू-डायस, मोबाइल नंबर और ओटीपी के माध्यम से आवेदन किए जाएंगे।
पीएमश्री का दर्जा: शिक्षा का नया मानक
पीएमश्री का दर्जा प्राप्त करने के बाद स्कूलों में आधुनिक शिक्षा के साथ-साथ पुस्तकालय, प्रयोगशाला और खेल सामग्री जैसी सुविधाओं पर विशेष ध्यान दिया जाएगा। छात्रों को यूनिफॉर्म में आना अनिवार्य होगा, और स्कूलों में अनुशासन को और सख्त किया जाएगा। साथ ही, लाइब्रेरी में प्रतियोगी परीक्षाओं की तैयारी के लिए आवश्यक सामग्री और हिंदी-अंग्रेजी के अखबार भी उपलब्ध कराए जाएंगे।
पहले ही 31 स्कूल बने हैं पीएमश्री
पटना जिले के 31 स्कूल पहले ही पीएमश्री का दर्जा प्राप्त कर चुके हैं। इन स्कूलों को विकास कार्यों के लिए विशेष फंड प्रदान किया गया है, जिसके तहत इंफ्रास्ट्रक्चर और अन्य सुविधाओं में उल्लेखनीय सुधार किया गया है। इन स्कूलों के नाम के साथ "पीएमश्री" शब्द जुड़ने से उनकी पहचान और गरिमा और भी बढ़ गई है। 575 स्कूलों के आवेदन की प्रक्रिया के बाद, 10 दिसंबर तक प्रखंड स्तर पर सभी दस्तावेजों का सत्यापन किया जाएगा। चयनित स्कूलों को पीएमश्री के मानकों के अनुरूप तैयार किया जाएगा, ताकि वे उच्च गुणवत्ता वाली शिक्षा और सुविधाएं प्रदान कर सकें।
शिक्षा में नए युग की शुरुआत
इस पहल से न केवल शिक्षा का स्तर सुधरेगा, बल्कि स्कूलों का प्रबंधन भी अत्याधुनिक होगा। छात्रों को डिजिटल और प्रायोगिक शिक्षा का अनुभव मिलेगा, जिससे उनकी समग्र विकास की संभावनाएं बढ़ेंगी। पटना के ये 575 स्कूल शिक्षा में नई क्रांति लाने के लिए तैयार हैं। पीएमश्री योजना के तहत इन स्कूलों में छात्रों के उज्ज्वल भविष्य की नींव रखी जाएगी