Bihar News:एक साथ 5 CO के वेतन पर रोक से बिहार प्रशासन में भूचाल, 4 BAO पर गिरी गाज,काम में ढिलाई पड़ी भारी
Bihar News:काम में लापरवाही बरतने वाले अधिकारियों पर कड़ा रुख अपनाते हुए 5 सीओ के वेतन पर रोक लगा दी गई है।
Bihar News: काम में लापरवाही बरतने वाले अधिकारियों पर कड़ा रुख अपनाते हुए 5 सीओ के वेतन पर रोक लगा दी गई है। सोमवार को समीक्षा बैठक के दौरान डीएम ने पांच अंचल अधिकारियों (सर्किल ऑफिसर) और चार प्रखंड कृषि अधिकारियों के वेतन को तत्काल प्रभाव से रोकने का निर्देश दिया है। इसके साथ ही चार प्रखंड कृषि अधिकारियों के खिलाफ विभागीय कार्रवाई शुरू करने का आदेश भी जारी किया गया है। इस कार्रवाई से जिले के अधिकारियों में हड़कंप मच गया है, और यह संदेश साफ है कि डीएम सरकारी काम में किसी भी तरह की ढिलाई बर्दाश्त नहीं करेंगे।
बिहार के भागलपुर जिले के जिलाधिकारी (डीएम) डॉ. नवल किशोर चौधरी ने समीक्षा भवन में 14 अप्रैल से शुरू हुए डॉ. अंबेडकर समग्र सेवा अभियान के तहत आयोजित बैठकों की कड़ी में महादलित टोलों में हुए विकास शिविरों में प्राप्त आवेदनों के निष्पादन की स्थिति की समीक्षा की। इस दौरान डीएम ने पाया कि कई अधिकारी सरकारी योजनाओं, खासकर किसानों के पंजीकरण जैसे महत्वपूर्ण कार्यों में अपेक्षित रुचि और सहयोग नहीं दिखा रहे हैं।
समीक्षा में सामने आया कि कहलगांव, शाहकुंड, बिहपुर और सबौर के प्रखंड कृषि अधिकारियों ने किसानों के पंजीकरण के कार्य में कोई रुचि नहीं दिखाई। डीएम ने इसे गंभीर लापरवाही मानते हुए जिला कृषि पदाधिकारी को निर्देश दिया कि इन चारों प्रखंड कृषि अधिकारियों का वेतन तत्काल बंद किया जाए और उनके खिलाफ विभागीय कार्रवाई शुरू की जाए।
गोपालपुर, सबौर, पीरपैंती, इस्माइलपुर और कहलगांव के अंचल अधिकारियों पर भी किसानों के पंजीकरण में सहयोग न करने और सरकारी कार्यों में उदासीनता बरतने का आरोप लगा। डीएम ने इन पांच अंचल अधिकारियों का वेतन रोकने का सख्त निर्देश जारी किया।
डॉ. नवल किशोर चौधरी अपने सख्त प्रशासनिक रवैये के लिए पहले भी सुर्खियों में रहे हैं। हाल ही में, अप्रैल 2024 में उन्होंने भूमि विवाद के मामलों में सुस्ती बरतने पर जिले के 39 थाना प्रभारियों का वेतन रोकने का आदेश दिया था। इसके अलावा, जून 2024 में चार सीडीपीओ से स्पष्टीकरण मांगने और राशन कार्ड आवेदनों के निष्पादन में देरी पर डीएसओ को फटकार लगाने जैसी कार्रवाइयां भी उनके कड़े तेवर को दर्शाती हैं।
डीएम की इस कार्रवाई ने जिले के प्रशासनिक महकमे में खलबली मचा दी है। अधिकारियों को यह स्पष्ट संदेश मिला है कि काम में लापरवाही या उदासीनता की कोई गुंजाइश नहीं है। खासकर, डॉ. अंबेडकर समग्र सेवा अभियान जैसे महत्वपूर्ण कार्यक्रम, जो महादलित और वंचित वर्गों के विकास पर केंद्रित है, में किसी भी तरह की ढिलाई को डीएम ने गंभीरता से लिया है।
इस कार्रवाई के बाद जिले के अधिकारियों पर अपनी कार्यशैली सुधारने का दबाव बढ़ गया है। डीएम ने स्पष्ट कर दिया है कि सरकारी योजनाओं और जनकल्याणकारी कार्यों में किसी भी तरह की लापरवाही बर्दाश्त नहीं की जाएगी।