भूमि जमाबंदी करने वालों के लिए बड़ी खबर, राजस्व कर्मचारियों पर हुआ बड़ा फैसला, अब फ़िलहाल नहीं होगा ...

राजस्व एवं भूमि सुधार विभाग के अपर मुख्य सचिव दीपक कुमार सिंह ने सभी प्रमंडलीय आयुक्तों और जिलाधिकारियों को पत्र भेजकर राजस्व कर्मचारियों के तबादले पर रोक को लेकर बड़ा आदेश जारी किया है.

Revenue and Land Reforms Department- फोटो : news4nation

Bihar News: राजस्व एवं भूमि सुधार विभाग के तत्वावधान में चल रहे राजस्व महा–अभियान के दौरान रैयतों को समय पर सेवा देने और शिविरों के कामकाज में तेजी लाने के लिए विभाग ने बड़ा कदम उठाया है। अब अभियान की अवधि में राजस्व कर्मचारियों के तबादले और अनुशासनात्मक कार्रवाई पर रोक लगा दी गई है।


राजस्व एवं भूमि सुधार विभाग के अपर मुख्य सचिव दीपक कुमार सिंह ने सभी प्रमंडलीय आयुक्तों और जिलाधिकारियों को पत्र भेजकर स्पष्ट किया है कि हाल में जिन राजस्व कर्मियों का एक अंचल से दूसरे अंचल में स्थानांतरण हुआ है, उन्हें अभी उनके पुराने हल्के में ही प्रतिनियुक्त किया जाए। कारण यह है कि नए हल्के से परिचित न होने के कारण जमाबंदी वितरण और शिविर में आवेदन लेने में कठिनाई और देरी हो रही है।


पत्र में कहा गया है कि महा–अभियान की सफलता में किसी तरह की बाधा न आए, इसके लिए 20 सितम्बर तक कोई भी निलंबन या अनुशासनात्मक कार्रवाई शुरू नहीं की जाएगी, जब तक कि परिस्थिति अत्यंत अपरिहार्य न हो। विभाग का मानना है कि इस दौरान की गई कार्रवाई से नकारात्मक तत्व सक्रिय हो सकते हैं और अभियान की गति को प्रभावित कर सकते हैं। ऐसे में सभी जिलों के अधिकारियों को निर्देश दिया गया है कि वे इस आदेश का पालन सुनिश्चित करें।


राजस्व महा–अभियान 16 अगस्त से शुरू हुआ है और 20 सितम्बर तक चलेगा। इस दौरान जमाबंदी में गलती सुधार, बंटवारा नामांतरण, उत्तराधिकार नामांतरण और ऑफलाइन जमाबंदियों को ऑनलाइन करने हेतु पंचायत में लगे शिविर में आवेदन लिया जाएगा। अपने पंचायत में जमाबंदी की प्रति के वितरण और शिविर की जानकारी अंचल के माइक्रो प्लान से मिलेगी। अंचल का माइक्रो प्लान और आवेदन पत्र विभाग के पोर्टल पर भी उपलब्ध है।


राजस्व एवं भूमि सुधार मंत्री संजय सरावगी ने कहा कि राजस्व महा–अभियान राज्य सरकार की प्राथमिकता का हिस्सा है। अभियान के दौरान यह सुनिश्चित किया जा रहा है कि आम जनता को उनकी जमीन से जुड़े कागजात बिना किसी कठिनाई के मिलें। इसी को ध्यान में रखते हुए अभियान की अवधि में तबादले और अनुशासनात्मक कार्रवाई रोक दी गई है, ताकि कोई भी प्रशासनिक व्यवधान कार्य में बाधा न बने। हम चाहते हैं कि हर रैयत को समय पर सेवा मिले और पंचायत स्तर तक पारदर्शी व सरल तरीके से काम हो। यह अभियान आम रैयतों को राजस्व मामले में सशक्त करने की दिशा में ऐतिहासिक कदम साबित होगा।