Bihar Vidhansabha Chunav: कभी कांग्रेस का गढ़, अब एनडीए का किला, गोविन्दगंज में फिर खिलेगा फूल या इस बार लालटेन की बारी?
गोबिंदगंज विधानसभा 2025 का चुनाव सिर्फ उम्मीदवारों का मुकाबला नहीं, बल्कि एनडीए और इंडिया गठबंधन के बीच राजनीतिक किले की लड़ाई बनने जा रहा है।...
Bihar Vidhansabha Chunav: मोतीहारी जिले की गोबिंदगंज विधानसभा सीट राजनीतिक रंगमंच का अहम किला रही है। 1952 से 1985 तक यह लगातार कांग्रेस का गढ़ माना जाता था, केवल 1969 में एक बार जनसंघ के राय हरिशंकर शर्मा ने यहाँ जीत दर्ज की। 1985 के बाद से राजनीतिक समीकरण बदल गए और अब तक एनडीए का कब्जा लगातार बना हुआ है। लेकिन 2025 के विधानसभा चुनाव से पहले इंडिया गठबंधन को इस किले को भेदने की चुनौती मिली है।
गोबिंदगंज विधानसभा का इतिहास बेहद रोचक है। इस सीट पर तीन निर्दलीय उम्मीदवार सहित दो बाहुबली नेताओं ने जीत दर्ज की है। 1995 के बाद से लगातार एनडीए का दबदबा रहा है। सीट का सामाजिक स्वरूप भी खास है भूमिहार और ब्राह्मण बहुलता वाली इस विधानसभा पर तीन बार भूमिहार और इसके बाद लगातार ब्राह्मण उम्मीदवारों का दबदबा रहा।
इस बार राजनीतिक सरगर्मी चरम पर है। एनडीए में भजपा और लोजपा के कार्यकर्ताओं के बीच सोशल मीडिया पर दावेदारी का युद्ध जारी है। वहीं, इंडिया गठबंधन में कांग्रेस और राजद अपने-अपने दावेदारी पर जोर दे रहे हैं। राजनीतिक गलियारों में जनसुराज की एंट्री से बेचैनी बढ़ी है। राजनीतिक पंडित मानते हैं कि उम्मीदवारों की घोषणा के बाद ही गोबिंदगंज की लड़ाई की फ्रेमिंग स्पष्ट होगी।
गोबिंदगंज की प्रमुख विकास एवं स्थानीय मुद्दे भी चुनावी बहस का हिस्सा हैं:किसानों की सिंचाई व्यवस्था के लिए बंद नलकूप चालू करना और नहर की हालत सुधारना।अस्पताल भवन के बावजूद डॉक्टरों की कमी, महिला डॉक्टरों की पोस्टिंग, पीएचसी और अनुमंडलीय अस्पतालों की स्थिति सुधारना।शवदाह गृह निर्माण की कमी से आम लोगों की परेशानी को दूर करना।20 साल से लंबित गंडक नदी पर पुल निर्माण का मुद्दा।संग्रामपुर, अरेराज व मलाही क्षेत्र की जर्जर सड़कों का निर्माण।
विकास कार्यों में भी कई प्रोजेक्ट शामिल हैं: सोमेश्वरनाथ महादेव मंदिर का पर्यटन विकास (106 करोड़), अरेराज मुख्य चौक से सड़क चौड़ीकरण एवं नाला निर्माण (30 करोड़), मलाही और मनगुरहा सहित अन्य पंचायतों में पीएम आरोग्य केंद्र भवन निर्माण, पशुपति नाथ से मलाही तक सड़कों का कालिकरण, 150 गांवों में सड़क निर्माण और कटाव से बचाव के लिए 32 करोड़ का शील्ड निर्माण।
2020 के चुनाव में भजपा के सुनील मणि तिवारी ने 65,716 वोट लेकर जीत दर्ज की थी। कांग्रेस के ब्रजेश पांडेय को 37,936 और लोजपा के राजू तिवारी को 31,416 वोट मिले थे।सत्ता पक्ष के अनुसार, सड़क, स्वास्थ्य और शिक्षा में व्यापक काम हुआ है, लेकिन कांग्रेस नेता शशिभूषण राय उर्फ गप्पू राय का आरोप है कि भ्रष्टाचार और कमीशन के खेल ने विकास की उम्मीदों को छलावा बना दिया है।
इस तरह गोबिंदगंज विधानसभा 2025 का चुनाव सिर्फ उम्मीदवारों का मुकाबला नहीं, बल्कि एनडीए और इंडिया गठबंधन के बीच राजनीतिक किले की लड़ाई बनने जा रहा है।
रिपोर्ट- हिमांशु कुमार