Vande Bharat train:बाबा पशुपतिनाथ और सीता मैया के दर्शन अब वंदे भारत एक्सप्रेस से! रक्सौल-कॉलकाता रूट पर मिल गई हरी झंडी, स्टेशन का मेकओवर 50 करोड़ में

Vande Bharat train:रक्सौल से कोलकाता के बीच नई वंदे भारत ट्रेन दौड़ेगी...

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बाबा पशुपतिनाथ और सीता मैया के दर्शन अब वंदे भारत एक्सप्रेस से! - फोटो : social Media

Vande Bharat train: अब ट्रेन से यात्रा होगी सुपरफास्ट, आरामदायक और बिल्कुल शाही स्टाइल में! पटना के बाद अब मुजफ्फरपुर-चंपारण रूट पर भी वंदे भारत एक्सप्रेस की एंट्री फाइनल हो गई है। सबसे मज़ेदार बात? रक्सौल से कोलकाता के बीच नई वंदे भारत ट्रेन दौड़ेगी, जिससे बंगाल के श्रद्धालुओं को अब बाबा पशुपतिनाथ और माता सीता के दर्शन करने में कोई झंझट नहीं रहेगा।

वहीं  प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी इसी महीने इस सेमी हाई स्पीड ट्रेन को हरी झंडी दिखाएंगे। 16 कोच वाली नई वंदे भारत एक्सप्रेस बिहार की राजधानी पटना से उत्तर प्रदेश के गोरखपुर के बीच चलाई जाएगी। इसका रूट मुजफ्फरपुर, बेतिया के रास्ते होगा। इसका फायदा पटना समेत उत्तर बिहार के विभिन्न जिलों के यात्रियों को मिलेगा। रेलवे ने इस ट्रेन के संचालन की तैयारी शुरू कर दी है। पटना से लेकर गोरखपुर तक तैयारियां की जा रही हैं। 20 जून को पीएम मोदी की सीवान में प्रस्तावित जनसभा से नई वंदे भारत का वर्चुअल शुभारंभ कराने की योजना है।

रक्सौल रेलवे स्टेशन को भी अब नया “हाईफाई” लुक मिलने वाला है। पूरे 50 करोड़ की लागत से यहां का कायाकल्प होगा — शानदार बिल्डिंग, चमचमाते प्लेटफॉर्म और यात्रियों के लिए सारे हाईटेक इंतज़ाम! और सिर्फ स्टेशन ही नहीं, वंदे भारत और अमृत भारत जैसी सुपर ट्रेनें यहां से मेंटेन भी होंगी। इसके लिए वॉशिंग पिट का भी टेंडर हो चुका है — सहरसा और रक्सौल दोनों जगह।

रेलवे तो रक्सौल को पूरी तरह चमका देने पर तुल गया है। स्टेशन बिल्डिंग के अपग्रेड से लेकर आधुनिक डिपो तक, सबकुछ नए जमाने का होगा। यहां वंदे भारत के रख-रखाव के लिए खास डिपो बनेंगे जिनमें बिजली, पानी, हाईटेक सिस्टम और कनेक्टिविटी का इंतज़ाम किया जा रहा है।

डीआरएम समस्तीपुर विनय श्रीवास्तव खुद इस पूरे प्रोजेक्ट की बारीकी से निगरानी कर रहे हैं ताकि काम में कोई ढिलाई न हो। और तो और, नेपाल-भारत रिश्तों में भी ये ट्रेन बनेगी एक नई "रेल-कड़ी"! जनकपुर से लेकर अयोध्या तक अब वंदे भारत ट्रेन श्रद्धा, संस्कृति और सुविधा को जोड़ने वाली बन रही है।

रेलवे मंत्रालय को भेजे गए इस प्रस्ताव को जैसे ही मंजूरी मिली, पूरे रेल विभाग में एक्शन मोड ऑन हो गया। पहले फेज में ओएचई (बिजली के ओवर हेड वायर) को ठीक किया जा रहा है, और इसके लिए 65 लाख का टेंडर भी जारी कर दिया गया है।

अमृत भारत ट्रेन का पहला तोहफा भी समस्तीपुर मंडल को ही मिला था, जब 22 जनवरी को पीएम मोदी ने अयोध्या से इसे दरभंगा के लिए रवाना किया था। तब जनकपुर से आए श्रद्धालुओं ने भगवान राम के ससुराल से ‘कलेवा’ लेकर उसे ऐतिहासिक बना दिया था।

तो अब तैयार हो जाइए — वंदे भारत की सवारी के साथ एक नया रेल-सफर शुरू करने के लिए, जिसमें रफ्तार भी होगी, श्रद्धा भी और सुकून भी!