Bihar News : बिहार में घर बैठे किसानों को मिल रही सरकारी योजनाओं से लेकर खेती की जानकारी, करीब सात लाख किसानों ने ‘बिहार कृषि’ एप पर कराया रजिस्ट्रेशन

Bihar News : बिहार में घर बैठे किसानों को मिल रही सरकारी योज

PATNA : बिहार के उप मुख्यमंत्री-सह-कृषि मंत्री विजय कुमार सिन्हा ने कहा कि बिहार सरकार कृषि के क्षेत्र में डिजिटलीकरण को बढ़ावा देने और किसानों को विभागीय योजनाओं की जानकारी एवं सुविधाएँ सरल और पारदर्शी ढंग से उपलब्ध कराने हेतु निरंतर प्रयासरत है। इसी क्रम में चतुर्थ कृषि रोड मैप के अंतर्गत राज्य सरकार द्वारा “बिहार कृषि” मोबाइल एप्लीकेशन की सुविधा प्रदान की जा रही है। यह एप किसानों के लिए एक बहुउद्देशीय और उपयोगी डिजिटल प्लेटफ़ॉर्म है, जिसके माध्यम से किसान सरकार की विभिन्न कृषि योजनाओं का लाभ घर बैठे प्राप्त कर सकते हैं। उन्होंने बताया कि अब तक लगभग 6.90 लाख किसान इस मोबाइल एप को डाउनलोड कर पंजीकरण करा चुके हैं, जो इस एप की लोकप्रियता और किसानों के बीच बढ़ते विश्वास को स्पष्ट दर्शाता है।

“बिहार कृषि” एप्लीकेशन को एकल प्लेटफ़ॉर्म के रूप में विकसित किया गया है, जिससे किसान विभिन्न कृषि योजनाओं में आवेदन करने के साथ-साथ अपने आवेदन की स्थिति और स्वीकृति संबंधी जानकारी भी प्राप्त कर सकते हैं। इस एप के माध्यम से किसानों को योजना से जुड़ी सभी सूचनाएँ और सेवाएँ एक ही स्थान पर उपलब्ध हो रही हैं। उप मुख्यमंत्री ने कहा कि किसानों की सुविधा को ध्यान में रखते हुए इस एप में “किसान पासबुक” की सुविधा जोड़ी गई है। यह पासबुक बैंक पासबुक की तरह कार्य करता है और इसमें किसान द्वारा कृषि विभाग से प्राप्त अनुदान का पूरा ब्यौरा दर्ज होता है। इससे किसानों को यह जानने में सुविधा होगी कि उन्हें किस योजना के तहत कितना लाभ मिला है। यह पूरी व्यवस्था पारदर्शिता को बढ़ाती है और किसानों के आत्मविश्वास को मजबूत करती है।

इस मोबाईल एप में पौधा संरक्षण संबंधी सलाह भी शामिल है। इसमें धान, गेहूं, मक्का, दलहन (अरहर, मूंग, चना, मसूर आदि) और तेलहन (सरसों, तिल, मूंगफली आदि) जैसी प्रमुख फसलों पर लगने वाले कीट और रोगों की जानकारी के साथ-साथ उद्यानिक फसलों जैसे आम और केला के रोग-नियंत्रण संबंधी सुझाव भी उपलब्ध कराए गए हैं। इससे किसान वैज्ञानिक पद्धति से खेती कर सकते हैं और उत्पादन एवं उत्पादकता में सुधार कर सकते हैं। इसके अतिरिक्त, “बिहार कृषि” एप के माध्यम से किसान विभिन्न फसलों के ताज़ा एवं विगत दिनों के बाजार मूल्य की जानकारी भी प्राप्त कर सकते हैं। एप पर कृषि संबंधित निर्देशिका भी उपलब्ध है, जिसमें मंडी, कोल्ड स्टोरेज, पैक्स, कृषि विज्ञान केंद्र और विभागीय अधिकारियों की संपर्क जानकारी दी गई है। इससे किसान सीधे संबंधित संस्थानों से जुड़कर अपनी समस्याओं का समाधान पा सकते हैं।

सिन्हा ने कहा कि एप में “बिहार कृषि रेडियो” की सुविधा भी है, जिसके माध्यम से किसान कृषि संबंधी नवीनतम जानकारी, विशेषज्ञों के विचार और सरकारी योजनाओं से संबंधित कार्यक्रम सुन सकते हैं। इसी तरह, मौसम से जुड़ी विस्तृत जानकारी जैसे तापमान, वर्षा और हवा की गति किसानों तक पहुँचाई जाती है। यह सुविधा किसानों को खेती की समय-सीमा और तकनीक तय करने में मदद करती है तथा प्राकृतिक आपदाओं से बचाव के लिए सतर्क भी करती है। इस एप के माध्यम से किसान अपना मृदा स्वास्थ्य कार्ड भी डाउनलोड कर सकते हैं। इससे उन्हें अपनी भूमि की उर्वरता, पोषक तत्वों की स्थिति और फसल चयन में सही निर्णय लेने में मदद मिल रही है।   इसके साथ ही, सरकार की नवीनतम योजनाएँ और घोषणाएँ भी इस एप से किसानों तक तुरंत पहुँचाई जाती हैं, जिससे वे समय पर लाभ ले सकें।

उन्होंने कहा कि एप में शिकायत निवारण तंत्र की भी सुविधा दी गई है। किसान कृषि संबंधी अपनी शिकायतें सीधे इसमें दर्ज करा सकते हैं। वहीं, पीएम किसान सम्मान निधि और किसान क्रेडिट कार्ड योजना से संबंधित जानकारी एप पर एआई आधारित चैटबॉट द्वारा तुरंत उपलब्ध कराई जाती है, जिससे किसानों को सटीक और स्पष्ट जानकारी मिलती है। उप मुख्यमंत्री विजय कुमार सिन्हा ने विश्वास व्यक्त किया कि “बिहार कृषि” मोबाइल एप किसानों के लिए एक डिजिटल साथी के रूप में कार्य कर रहा है। यह न केवल उन्हें योजनाओं और सेवाओं की जानकारी उपलब्ध करा रहा है, बल्कि कृषि कार्यों में वैज्ञानिक दृष्टिकोण और दक्षता भी बढ़ा रहा है।