Patna Police: पटना में पुलिस की लापरवाही पर SSP की सख्त कार्रवाई! तीन थानों के अधिकारी और जवान निलंबित, सैप चालकों का अनुबंध समाप्त

Patna Police: पटना में 25 मई 2025 को एक संदिग्ध फोर व्हीलर को इंटरसेप्ट करने में पुलिस की विफलता के चलते SSP के आदेश पर कई थानों के अधिकारी और जवान निलंबित किए गए हैं।

Patna Police
पटना पुलिस की बड़ी कार्रवाई!- फोटो : social media

 Patna Police: पटना के SSP की तरफ से दिनांक 25 मई 2025 की शाम को एक संदिग्ध Four Wheeler वाहन को PIR सिस्टम (Police Intercept Request) के जरिए ट्रैक करने का निर्देश दिया गया था।SSP खुद अटल पथ होते हुए मरीन ड्राइव की ओर जा रहे थे, तभी संदिग्ध वाहन पर कार्रवाई करने के लिए वायरलेस से संदेश फ्लैश किया गया।

लेकिन हुआ क्या?

दीघा थाना, गांधी मैदान थाना और पीरबहोर थाना क्षेत्र में ये वाहन देखे गए। बावजूद इसके किसी भी थाने की पुलिस यूनिट ने वाहन को इंटरसेप्ट नहीं किया।घटना के तुरंत बाद SSP ने पूरे घटनाक्रम को गंभीर लापरवाही माना और निलंबन व अनुबंध समाप्ति जैसी कार्रवाई की।

निलंबित पदाधिकारी और कर्मी

दीघा थाना – वाहन संख्या BR01HP0137

पु.अ.नि. संतोना देवी

गांधी मैदान – वाहन संख्या BR01HP0142

सिपाही 1032 श्रवण परियार

PTC 124 विजय कुमार पंडित

सिपाही 185 उज्जल कुमार

पीरबहोर थाना

स.अ.नि. अजय शंकर पाठक (BR01HP0188)

महिला सिपाही 5001 सुगम संगम कुमारी

PTC 4251 मो. जाकिर

महिला सिपाही 2184 संगीता कुमारी (BR01HP0187)

ERSS वाहन चालकों का अनुबंध समाप्त

ईमरजेंसी रिस्पॉन्स सिस्टम (ERSS) के तहत कार्यरत सैप चालकों का अनुबंध समाप्त:

थाना    वाहन संख्या    चालक नाम

दीघा    BR01HP0137    शशि कुमार (SAP 72829294 Y)

गांधी मैदान    BR01HP0142    धर्मेन्द्र कुमार (SAP 15636179 H)

पीरबहोर    BR01HP0188    नइमउद्दिन (SAP 42744574 Y)

पीरबहोर    BR01HP0187    मुनेन्द्र कुमार (SAP 14817486 K)

एसएसपी ने स्पष्ट किया कि यह जवाबदेही तय करने का मामला है, और लापरवाही पर कोई समझौता नहीं किया जाएगा। 

संबंधित थानों से स्पष्टीकरण मांगा गया

दीघा, गांधी मैदान, और पीरबहोर थानों के थानाध्यक्षों से शो कॉज नोटिस के तहत स्पष्टीकरण मांगा गया है।उन्हें यह स्पष्ट करना होगा कि वायरलेस पर सूचना मिलने के बावजूद इंटरसेप्शन में विफल क्यों रहे।

प्रशासनिक और पुलिसिंग संकेत

यह मामला दर्शाता है कि पुलिस के फील्ड यूनिट्स में समन्वय की कमी है। SSP के वायरलेस संदेश को गंभीरता से नहीं लिया गया। आपातकालीन सुरक्षा तंत्र (ERSS) में सैप चालकों की निष्क्रियता भी एक गंभीर चिंता का विषय बन गई है।