बिहार उत्तरप्रदेश मध्यप्रदेश उत्तराखंड झारखंड छत्तीसगढ़ राजस्थान पंजाब हरियाणा हिमाचल प्रदेश दिल्ली पश्चिम बंगाल

LATEST NEWS

लालू प्रसाद के करीबी कारोबारी सुभाष यादव के खिलाफ ईडी ने कसा शिकंजा, बालू के अवैध खनन केस में चार्जशीट दायर

लालू प्रसाद के करीबी  कारोबारी सुभाष यादव के खिलाफ ईडी ने कसा शिकंजा, बालू के अवैध खनन केस में चार्जशीट दायर

PATNA : राजद सुप्रीमो लालू प्रसाद के करीबी व बेऊर जेल में बंद बालू कारोबारी सुभाष प्रसाद यादव के खिलाफ ईडी ने अपना शिकंजा कस दिया है। जांच एजेंसी ने उनके खिलाफ पीएमएलए के विशेष कोर्ट में चार्जशीट दायर कर दिया है। चार्जशीट में ईडी ने सुभाष यादव और उनकी कंपनी मोर मुकुट मार्केटिंग प्राइवेट लिमिटेड के कर्मचारी जितेन्द्र सिंह और ब्राडसन कंपनी के पूर्व निदेशक कृष्ण मोहन सिंह को भी अभियुक्त बनाया है।

इससे पहले अवैध बालू कारोबार मामले में ईडी ने दानापुर के दीघा के रहने वाले सुभाष यादव के बालू कारोबार का हिसाब-किताब रखने वाले जितेन्द्र कुमार सिंह और ब्राडसन कंपनी के निदेशक कृष्ण मोहन सिंह की गिरफ्तारी के बाद उन्हें रिमांड पर लेकर पूछताछ की थी। पूछताछ में पटना, सारण, अरवल समेत बिहार के अन्य स्थान पर गड़बड़ी के मामले सामने आए थे। 

83 करोड़ से ज्यादा के राजस्व का हुआ नुकसान

जांच के दौरान सरकारी चालान दिए बगैर अवैध तरीके से करोड़ों के बालू कारोबार का खुलासा हुआ। यह सबकुछ ब्राडसन कंपनी को मिले बालू खनन के टेंडर की आड़ में किया गया। बालू खनन जांच में यह भी खुलासा हुआ कि वर्ष 2020 के फरवरी से लेकर अगस्त तक 7 महीने में बिना सरकारी चालान के बालू का अवैध कारोबार होता रहा। इससे सरकार को 83 करोड़ 52 लाख 45 हजार रुपए की राजस्व की क्षति हुई।

बालू के अवैध धंधे में दूसरा एफआईआर

बिहार में बालू के अवैध कारोबार को लेकर ईडी ने दो प्राथमिकियां दर्ज की हैं। वर्ष 2023 में दर्ज मामले में एमएलसी राधा चरण सेठ, मिथिलेश सिंह, बबन सिंह, सुरेन्द्र कुमार जिंदल और राधाचरण के बेटे कन्हैया प्रसाद और ब्राडसन कंपनी को आरोपी बनाया गया। दूसरे मामले में सुभाष यादव, जितेन्द्र कुमार और कृष्ण मोहन सिंह के खिलाफ केस दर्ज किया। ईडी ने अबतक आठ लोगों को अभियुक्त बनाया है। जिसमें अब चार्ज शीट दायर किया गया है। 

सुभाष यादव के कर्मचारी ने खोले हैं कई राज

सुभाष प्रसाद यादव के कहने पर उनके कर्मचारी जितेन्द्र कुमार सिंह को ईडी ने पूछताछ के लिए हिरासत में लिया था। उसने बताया कि एक कंपनी की जमीन खरीदने के लिए नकद में 20 करोड़ रुपए का भुगतान किया था। इसमे 2.2 करोड़ रुपए किसी गुड्डू, 50-50 लाख रुपए अंकित या ओमकार और 50 लाख रुपए उपेन्द्र जी नामक शख्स ने नगद दिए थे। 

जितेंद्र ही रखता था पूरा हिसाब किताब

पूछताछ में उसने यह भी बताया कि सुभाष प्रसाद यादव ने मोर मुकुट मार्केटिंग प्राइवेट लिमिटेड कंपनी का कार्यालय कोईलवर में खोल रखा था। इसी कंपनी में जितेन्द्र कुमार सिंह पिछले 20 वर्षों से काम करता था। बालू का पूरा हिसाब-किताब वही देखता था। इसी कंपनी में ब्राडसन कंपनी के सिंडिकेट का पैसा भी जमा होता था। अरवल बालू घाट के खनन के काम की देख-रेख भी जितेन्द्र के ही जिम्मे थी।

Editor's Picks