बिहार के बेरोजगार युवाओं के लिए बड़ी खुशखबरी है. राज्य के स्वास्थ्य विभाग में 45 हजार पदों पर नियुक्ति की प्रक्रिया जल्द ही शुरू होने वाली है. इस भर्ती में डॉक्टर, नर्स, फार्मासिस्ट, लैब टेक्नीशियन समेत कई अन्य पद शामिल हैं. इस भर्ती प्रक्रिया के अक्टूबर 2024 से शुरू होने की संभावना है. हालांकि आरक्षण को लेकर कुछ विवादों के कारण इसमें थोड़ी देरी हुई है. पहले स्वास्थ्य विभाग ने 65% आरक्षण के आधार पर जिलों से विभिन्न पदों का रोस्टर क्लियर कर रिक्तियां मांगी थीं, लेकिन पटना हाईकोर्ट के आदेश के बाद अब पुराने प्रावधानों के आधार पर ही बहाली होगी.
स्वास्थ्य विभाग का लक्ष्य अगले 6 महीनों के भीतर इस भर्ती प्रक्रिया को पूरा करना है। विभाग ने कुछ पदों के लिए जिलों से 50% आरक्षण के आधार पर रोस्टर क्लियर कर वैकेंसी मांगी है और उम्मीद है कि अगले महीने तक सभी पदों की वैकेंसी रोस्टर के साथ मिल जाएंगी। कुल 45 हजार पदों में से सहायक प्राध्यापक के 1339, विशेषज्ञ चिकित्सा पदाधिकारी के 3523, सामान्य चिकित्सा पदाधिकारी के 396, सामान्य चिकित्सा पदाधिकारी (संविदा) के 1290, दंत चिकित्सक के 64, सिस्टर ट्यूटर के 362, नर्स के 6298, एएनएम के 15089, फार्मासिस्ट के 3637, एक्स रे तकनीशियन के 803, ओटी असिस्टेंट के 1326, ईसीजी तकनीशियन के 163, लैब तकनीशियन के 3080, ड्रेसर के 1562, और सीएचओ(संविदा) के 4500 पदों पर भर्ती होगी।
इस भर्ती प्रक्रिया के लिए अभी विभाग विभिन्न आयोगों को रिक्तियों की जानकारी भेजेगा। जिसके बाद आयोग आवेदन के लिए योग्य अभ्यर्थियों को लगभग एक महीने का समय देगा। चयन प्रक्रिया पूरी करने के बाद योग्य अभ्यर्थियों की अनुशंसा आयोग से स्वास्थ्य विभाग को मिलेगी। इस नियुक्ति को लेकर स्वास्थ्य मंत्री मंगल पांडेय ने जून में विभागीय अधिकारियों को निर्देश दिया था कि मिशन मोड में सभी रिक्त पदों पर नियुक्ति पूरी कराएं। मुख्य सचिव अमृत लाल मीणा ने भी स्वास्थ्य विभाग के अधिकारियों को सभी रिक्त पदों को भरने का निर्देश दिया था.