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UP NEWS: मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ जी ने बेसिक शिक्षा विभाग

लखनऊ: मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने शनिवार को अपने सरकारी आवास पर बेसिक शिक्षा विभाग के अधिकारियों के साथ समीक्षा बैठक की। इस अवसर पर मुख्यमंत्री ने स्पष्ट रूप से निर्देशित किया कि सरकार का खजाना जनता का पैसा है, और गुणवत्तापूर्ण शिक्षा के लिए सरकार के पास धन की कोई कमी नहीं है। उन्होंने कहा कि प्रदेश के किसी भी विद्यालय में शिक्षक विहीन स्थिति नहीं होनी चाहिए और शिक्षा की गुणवत्ता पर पूरा ध्यान दिया जाएगा।


मुख्यमंत्री के प्रमुख निर्देश


गुणवत्तापूर्ण शिक्षा का ध्यान

मुख्यमंत्री ने कहा कि राज्य सरकार का पूरा फोकस गुणवत्तापूर्ण शिक्षा पर होना चाहिए। शिक्षा का स्तर सुधारने के लिए राज्य सरकार सभी आवश्यक उपायों को लागू कर रही है, ताकि बच्चों को बेहतर शिक्षा मिल सके।


शिक्षक-छात्र अनुपात में सुधार

मुख्यमंत्री जी ने कहा कि आकांक्षात्मक जनपदों एवं विकास खंडों में शिक्षक-छात्र अनुपात बेहतर होना चाहिए। इसके लिए सभी स्तरों पर सुधार की आवश्यकता है और सरकार इस दिशा में निरंतर कार्य कर रही है।


आपरेशन कायाकल्प

राज्य सरकार ने "आपरेशन कायाकल्प" के अंतर्गत 19 पैरामीटर्स के आधार पर विद्यालयों में सुधार कार्य किए हैं। इस योजना के तहत सभी परिषदीय विद्यालयों में बालकों और बालिकाओं के लिए अलग-अलग शौचालय की व्यवस्था, पेयजल, अच्छे फ्लोरिंग वाले क्लासरूम, विद्युत सुविधा, बाउंड्रीवाल और गेट के साथ अच्छे फर्नीचर की उपलब्धता सुनिश्चित की गई है।


मुख्यमंत्री मॉडल विद्यालय

मुख्यमंत्री जी ने बताया कि राज्य सरकार कक्षा 1 से 12 तक के लिए मुख्यमंत्री मॉडल कंपोजिट विद्यालयों का निर्माण कर रही है। इसके लिए 26 जनपदों के लिए धनराशि जारी की जा चुकी है। साथ ही, प्री-प्राइमरी से कक्षा 8 तक के लिए मुख्यमंत्री अभ्युदय कंपोजिट विद्यालय बनाए जा रहे हैं। इन विद्यालयों में खेल के मैदान, ट्रेनिंग सेंटर, और न्यू एज कोर्सेज की व्यवस्था की जाएगी।


शिक्षा के क्षेत्र में सुधार के परिणाम

मुख्यमंत्री जी ने बताया कि "एसर" (ACER) रिपोर्ट के अनुसार वर्ष 2024 में उत्तर प्रदेश में शिक्षा की गुणवत्ता में उल्लेखनीय सुधार हुआ है। प्रदेश अब टॉप परफॉर्मिंग स्टेट की श्रेणी में आ गया है। प्राथमिक विद्यालयों में विद्यार्थियों की उपस्थिति 2010 में 57% से बढ़कर 2024 में 71.4% हो गई है।


स्कूल चलो अभियान

मुख्यमंत्री जी ने आगामी 1 अप्रैल से 15 अप्रैल और जुलाई माह में 15 दिन का "स्कूल चलो अभियान" चलाने की घोषणा की है। इस अभियान में शिक्षकों, ग्राम प्रधानों और पंचायत सदस्यों द्वारा बच्चों को स्कूल भेजने के लिए प्रेरित किया जाएगा। यह अभियान बच्चों के लिए उत्सव के रूप में आयोजित किया जाएगा, जिससे वे स्कूल जाने में आनंदित महसूस करें।


समर कैंप

मुख्यमंत्री जी ने अधिकारियों को समर कैंप संचालित करने के लिए भी निर्देश दिए हैं। यह कैंप एक से डेढ़ घंटे के होंगे, जिनमें बच्चों को खेल-खेल में नई चीजों को सिखाया जाएगा। समर कैंप में शारीरिक शिक्षा पर भी विशेष जोर दिया जाएगा और यह प्रातःकालीन सत्र में आयोजित किए जाएंगे ताकि बच्चों को धूप और गर्मी से बचाया जा सके।


कस्तूरबा गांधी बालिका विद्यालयों का सुधार

मुख्यमंत्री ने कस्तूरबा गांधी बालिका विद्यालयों की व्यवस्थाओं को और बेहतर करने का निर्देश दिया। इन विद्यालयों में खेलों में भी बच्चों का अच्छा प्रदर्शन हुआ है, और उन्होंने कई खेलों में प्रदेश का मान बढ़ाया है। मुख्यमंत्री जी ने कहा कि इन विद्यालयों की शिक्षाओं और संसाधनों को बेहतर बनाने के लिए नए कदम उठाए जाएंगे।


आरटीई और शारदा कार्यक्रम

मुख्यमंत्री जी ने आरटीई के अंतर्गत बच्चों की संख्या में वृद्धि का उल्लेख किया और बताया कि शारदा कार्यक्रम के तहत लाखों बच्चों को परिषदीय विद्यालयों में प्रवेश कराया गया है। 2024-25 तक आरटीई के तहत 4 लाख 58 हजार से अधिक बच्चे अध्ययन कर रहे हैं।


डिजिटल शिक्षा में सुधार

मुख्यमंत्री जी ने कहा कि प्रदेश सरकार ने 25,784 विद्यालयों में स्मार्ट क्लासेज, 5,568 आईसीटी लैब्स और 2 लाख 61 हजार से अधिक टैबलेट उपलब्ध कराए हैं। इसके साथ ही, 2021-22 से छात्रों को निशुल्क यूनिफॉर्म, स्वेटर, स्कूल बैग, जूते और मोजे डीबीटी के माध्यम से दिए जा रहे हैं।

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