मां दुर्गा की प्रतिमा तोड़ने पर बवाल, मुस्लिम युवक को भीड़ ने किया पुलिस के हवाले , इलाके में भारी फोर्स तैनात

Bihar Crime:असामाजिक तत्वों ने मां दुर्गा की प्रतिमा को तोड़फोड़ कर क्षतिग्रस्त कर दिया। इसके बाद लोगों का आक्रोश भड़क गया। ...

मां दुर्गा प्रतिमा तोड़ने पर बवाल- फोटो : reporter

Bihar Crime:असामाजिक तत्वों ने मां दुर्गा की प्रतिमा को तोड़फोड़ कर क्षतिग्रस्त कर दिया। इसके बाद लोगों का आक्रोश भड़क गया।  पूर्णिया ज़िले के बैसा प्रखंड अंतर्गत मजगामा पंचायत में देर रात का मंजर हिंसक हो उठा, जब असामाजिक तत्वों ने मां दुर्गा की प्रतिमा को तोड़फोड़ कर क्षतिग्रस्त कर दिया। शुक्रवार सुबह जैसे ही गांव के लोग मंदिर पहुँचे और टूटी मूर्ति देखी, ग़ुस्से का ज्वालामुखी फूट पड़ा।

आंखों-देखी गवाही के मुताबिक, गांव के शंकर सिंह ने दावा किया कि उसने रात में मंदिर से एक युवक को बाहर निकलते देखा था, जिसकी हरकतें संदिग्ध थीं। पहचान कर भीड़ ने उसी युवक को पकड़ लिया। युवक मुस्लिम समुदाय का बताया गया। आक्रोशित लोगों ने न सिर्फ उसकी लाठी-डंडों से बेरहमी से पिटाई की, बल्कि दोनों हाथ रस्सी से बांधकर पूरे गांव में घुमाया।

मौके पर पहुंची अनगढ़ और रौटा थाना पुलिस ने किसी तरह उसे भीड़ से छुड़ाया और सामुदायिक भवन में ले जाकर हिरासत में लिया। पूछताछ में युवक ने मंदिर में तोड़फोड़ करने की बात स्वीकार की है। हालांकि उसने यह कदम क्यों उठाया, इसका खुलासा नहीं हो पाया है।

घटना की खबर फैलते ही मजगामा हाट और आसपास के इलाक़ों में उग्र प्रदर्शन शुरू हो गया। भीड़ ने कई दुकानों में तोड़फोड़ की और सड़कों पर टायर जलाकर आगजनी की। भीड़ के आक्रोश को काबू करने के लिए भारी पुलिस बल बुलाया गया। हालात इतने बिगड़े कि वरिष्ठ अधिकारियों को भी घटनास्थल की कमान संभालनी पड़ी।

गांव के हज़ारों लोग मंदिर के बाहर जमा हो गए और माहौल लगातार गरमाता गया। पुलिस सूत्रों के मुताबिक, स्थिति अभी तनावपूर्ण लेकिन नियंत्रण में है। युवक को पंचायत भवन में सुरक्षित रखा गया है और उससे लगातार पूछताछ की जा रही है।

इस घटना ने पूरे इलाके में सांप्रदायिक तनाव की आशंका बढ़ा दी है। ग्रामीणों का कहना है कि धार्मिक आस्था पर हमला असहनीय है। वहीं प्रशासन ने लोगों से शांति बनाए रखने की अपील की है।

मजगामा पंचायत का यह बवाल अब पूरे ज़िले में चर्चा का विषय बना हुआ है। मूर्ति खंडित होने से जहां श्रद्धालुओं की भावनाएं आहत हुई हैं, वहीं पुलिस और प्रशासन पर भीड़ को संभालने और क़ानून-व्यवस्था कायम रखने की बड़ी चुनौती खड़ी हो गई है।

रिपोर्ट- अंकित कुमार