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bpsc 69th result - बड़ी तैयारी के लिए बड़े शहर में जाना जरुरी नहीं, घर में रहकर पा सकते हैं कामयाबी, BPSC 69TH में सेल्फी स्टडी से 23वां रैंक लाकर डीएसपी बने अंकित

bpsc 69th result - 69वें BPSC परीक्षा में भागलपुर के अंकित को 23वां स्थान मिला है। वह डीएसपी के लिए चयनित हुए हैं। नियोजित शिक्षक के बेटे ने घर पर रहकर अपनी परीक्षा की पूरी तैयारी की। वहीं बेटे की कामयाबी पर परिवार में खुशी का माहौल है।

bpsc 69th result -  बड़ी तैयारी के लिए बड़े शहर में जाना जरुरी नहीं, घर में रहकर पा सकते हैं कामयाबी, BPSC 69TH में सेल्फी स्टडी से 23वां रैंक लाकर डीएसपी बने अंकित
BPSC में 23वां रैंक लाकर बना डीएसपी- फोटो : अंजनी कुमार कश्यप

BHAGALPUR - बीपीएससी ने 69वीं संयुक्त प्रतियोगिता परीक्षा का फाइनल रिजल्ट जारी कर दिया। मंगलवार की रात को जारी रिजल्ट में भागलपुर जिले के पश्चिम टोला भोलसर पंडित टोला निवासी नियोजित शिक्षक रुदल पंडित का पुत्र अंकित कुमार रंजन बिहार लोक सेवा सेवा आयोग की परीक्षा में 23 वें स्थान पर रहे। उनका डीएसपी के पद पर चयन किया गया है। चयन की खबर लगते ही भोलसर पश्चिम टोला गांव में जश्न का माहौल बन गया। अंकित के घर बधाई देने वालों का ताता लगा हुआ है, फूलों का माला पहनकर और मुंह मीठा कर बधाई दे रहे हैं। इस सफलता से मां शबनम देवी पिता रुदल पंडित और बड़े पापा विभीषण पंडित काफी खुश है।

गांव में की स्कूल की पढ़ाई

 सफलता प्राप्त करने के बाद अंकित कुमार रंजन ने कहा कि उन्होंने स्कूल की पढ़ाई गांव के ही पश्चिम टोला के मध्य विद्यालय भोलसर में इसके बाद उच्च विद्यालय एकचारी से किया है। घर में ही रहते हुए उन्होंने JE मेंन्स की परीक्षा निकाल कर  NIT जमशेदपुर से पढ़ाई पूरा 2023 में किया है। 

सेल्फ स्टडी के साथ यूट्यूब ने की तैयारी में मदद

बताया कि सेल्फ स्टडी से ही BPSC में सफलता हासिल की है। किसी भी विषय पर डाउट होने पर यूट्यूब पर ऑनलाइन वीडियो देखकर अपने डाउट को क्लियर करते थे। बड़ी बहन जुली कुमार से भी बातचीत करते थे। कहा कि इस सफलता में बड़ी बहन जूली का बहुत बड़ा योगदान है। दीदी ने ही पढ़ाई के लिए प्रेरित किया और आर्थिक मदद किया है। 

बताया कि जरूरी नहीं की बड़े शहरों में ही जाकर आप पढ़ाई कर इस तरह की सफलता हासिल कर सकते हैं। कहा कि हमने खुद ही गांव में रहकर स्कूल की पढ़ाई की और सेल्फ स्टडी से ही हमने यह सफलता हासिल किया है। इसलिए आप आत्मविश्वास के साथ यदि सेल्फ स्टडी घर पर ही करते हैं तो इस तरह की सफलता मिल सकती है। गाँव में पढ़ाई करने के लिए एक लाइब्रेरी होना बेहद जरूरी है। लाइब्रेरी हो जहां पर बच्चे पढ़ सके। घर में पढ़ने में थोड़ा सा कंसंट्रेट टूटता है, इसलिए लाइब्रेरी में पढ़ाई करना बहुत जरूरी है। 

बड़ी बेटी बिजली विभाग में जेई

अंकित रंजन के पिता पुत्र की सफलता पर गदगद है। उन्होंने बताया कि वह एक नियोजित शिक्षक है। शुरू में शिक्षामित्र में जब चयन हुआ था तो उन्हें पढ़ने में काफी आर्थिक परेशानियों का सामना करना पड़ रहा था। उन्हें दो बेटी और सबसे छोटा बेटा अंकित है। बड़ी बेटी का बिहार इलेक्ट्रिसिटी बोर्ड में जूनियर इंजीनियर के पद पर चयन होने के बाद से आर्थिक स्थिति में थोड़ा सुधार हुआ। जिस कारण मेरी एक बेटी ने एमबीबीएस की पढ़ाई पूरी कर ली है और वर्तमान में पीजी कर रही है । अब मेरे पुत्र अंकित आनंद ने बीपीएससी में सफलता हासिल किया है। कहा कि इस सफलता में मुझे पूरे परिवार का साथ मिला है। 

बहन जूली कुमारी जो बिहार इलेक्ट्रिसिटी बोर्ड में जूनियर इंजीनियर के पद पर काबिज हैं।उन्होंने ने बताया कि भाई के सफल होने से वह काफी खुश है, उन्होंने कहा कि अंकित एक बार यूपीएससी की परीक्षा में शामिल हुए थे। सफल नहीं होने पर थोड़ा सा मनोबल गिरा था। जिसे हमने दूर किया और उन्हें मोटिवेट कर आगे बढ़ाने के लिए कहा और आज वह BPSC में सफल हो गए हैं। 

छोटी बहन डॉक्टर अनु कुमारी ने कहा कि उन्होंने भी एमबीबीएस की पढ़ाई सरकारी स्कूल से ही पढ़कर किया है। कहा कि भाई ने जो सफलता हासिल की है उसके लिए मेरे पास कोई शब्द नहीं है। वह काफी खुश है। इस बात की जानकारी रात को जब मिली तो खुशी के मारे खाना भी नहीं खा पा रहे थे, नींद भी नहीं आ रही थी।    

रिपोर्ट - अंजनी कुमार कश्यप


                                                           

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