Bihar Land Survey: बिहार सरकार ने भूमि सर्वेक्षण प्रक्रिया को और अधिक सरल बनाने के लिए एक नया आदेश जारी किया है। इस आदेश के अनुसार, अब किसानों को अपनी जमीन का नाप करवाने के लिए दाखिल-खारिज कराने की आवश्यकता नहीं होगी। अब किसानों को जमीन नापी कराने के लिए म्यूटेशन (दाखिल-खारिज) कराने की जरूरत नहीं होगी। यह बदलाव जमीन संबंधी कार्यों को आसान और तेज बनाएगा।
जमीन मापी के लिए अब किसान ऑनलाइन आवेदन कर सकते हैं। इससे समय और मेहनत दोनों की बचत होगी। पहले सरकारी जमीन, कोर्ट के आदेश आदि मामलों में मापी के लिए स्पष्ट दिशानिर्देश नहीं थे। नए आदेश में इन सभी मामलों को शामिल कर दिया गया है, जिससे किसानों को अपनी जमीन की मापी कराने में कोई समस्या नहीं आएगी।
जमीनों की जमाबंदी में सुधार के लिए परिमार्जन प्लस पोर्टल का उपयोग किया जाएगा। इससे जमीन संबंधी रिकॉर्ड्स और अधिक सटीक होंगे। अब किसानों को जमीन की नापी कराने के लिए जमाबंदी होने का इंतजार नहीं करना होगा।
ऑनलाइन आवेदन और म्यूटेशन की अनिवार्यता खत्म होने से किसानों को समय और मेहनत की बचत होगी। नए सिस्टम से जमीन संबंधी कार्यों में पारदर्शिता आएगी। परिमार्जन प्लस पोर्टल के माध्यम से जमीन संबंधी रिकॉर्ड्स और अधिक सटीक होंगे।स्पष्ट दिशानिर्देशों के कारण जमीन संबंधी विवादों में कमी आएगी।
बिहार सरकार ने भूमि सर्वे की प्रक्रिया को सरल और पारदर्शी बनाने के लिए कई महत्वपूर्ण कदम उठाए हैं। उम्मीद है कि इन बदलावों से राज्य के कृषकों को काफी लाभ होगा।